मानेसर भूमि घोटालेे के आरोपित पूर्व आइएएस ढिल्लों की याचिका पर सीबीआइ को नोटिस

मानेसर भूमि घोटाले के मामले में आरोपित पूर्व आइएएस सुदीप सिंह ढिल्लों की याचिका पर पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने सीबीआइ को नोटिस जारी किया है। साथ ही ट्रायल कोर्ट को मामला आगे सुनने पर भी अंतरिम रोक लगा दी है।

By Kamlesh BhattEdited By: Publish:Sat, 16 Jan 2021 03:02 PM (IST) Updated:Sat, 16 Jan 2021 03:02 PM (IST)
मानेसर भूमि घोटालेे के आरोपित पूर्व आइएएस ढिल्लों की याचिका पर सीबीआइ को नोटिस
मानेसर भूमि घोटाले के मामले के आरोपित की याचिका पर सीबीआइ को नोटिस। सांकेतिक फोटो

जेएनएन, चंडीगढ़। पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के प्रमुख सचिव रहे पूर्व आइएएस सुदीप सिंह ढिल्लों की याचिका पर सीबीआइ को नोटिस जारी किया है। ढिल्लों मानेसर भूमि घोटालेे के मामले में आरोपित हैं। ढिल्लों ने हाई कोर्ट में दायर अपनी याचिका में सीबीआइ ट्रायल कोर्ट पंचकूला के आदेशों को रद करने की मांग की है।

ढिल्लों ने हाई कोर्ट में दायर अपनी याचिका में सीबीआइ कोर्ट द्वारा 16 मार्च, 2018 के आदेश जिसके तहत सीबीआइ द्वारा पेश किए गए आरोप पत्र पर कोर्ट ने उसको पेश होने का आदेश दिया था। इसी तरह 1 दिसंबर, 2020 के सीबीआइ कोर्ट के आदेशों को भी रद करने के निर्देश देने की मांग की गई है, जिसके तहत उस पर आपराधिक साजिश, धोखाधड़ी, जालसाजी और भ्रष्टाचार अधिनियम की रोकथाम के विभिन्न धाराओं के तहत आरोप लगाए गए।

याचिका में दलील दी गई कि कि भ्रष्टाचार रोकथाम अधिनियम के तहत उसके खिलाफ मामला चलाने के लिए अपेक्षित मंजूरी जरूरी है। अथारिटी की मंजूरी के बगैर उसके खिलाफ मामला चलाना गैरकानूनी है। ढिल्लों की तरफ से दलील दी गई कि विशेष सीबीआइ अदालत पंचकूला का यह निर्णय आधारहीन है कि ढिल्लों खिलाफ मामला चलाने के लिए किसी अथारिटी की मंजूरी की जरूरत नहीं है।

दलील दी गई कि भ्रष्टाचार रोकथाम अधिनियम 1988 की धारा 19, के तहत याचिकाकर्ता जैसे सेवानिवृत्त लोक सेवक के खिलाफ मामला चलाने के लिए अथारिटी की मंजूरी एक आवश्यक शर्त है, लेकिन इसकी पालना नहीं की गई। कानून के सामने सीबीआइ कोर्ट का आदेश गैर कानूनी है। हाई कोर्ट को बताया गया कि ट्रायल कोर्ट के सामने यह साफ हो चुका है कि भूमि के अधिग्रहण और मुआवजा तय करने में उसका कोई रोल नहीं है। फिर भी उसके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।

सुनवाई के दौरान सीबीआइ के वकील सुमीत गोयल ने मामले की जांच के बारे में कोर्ट को बताया कि सीबीआइ कोर्ट ने जांच एजेंसी को 24 फरवरी को ढिल्लों पर जवाब देने का आदेश दिया हुआ है। हाई कोर्ट के जस्टिस अरविंद सिंह सांगवान ने सीबीआइ वकील के इस जवाब पर सीबीआइ कोर्ट पंचकूला को निर्देश दिया कि वो इस मामले पर अभी आगे कोई निर्णय न ले व इस याचिका पर हाई कोर्ट में सुनवाई की तिथि के बाद सुनवाई तय करे। हाई कोर्ट में इस मामले में अगली सुनवाई 24 फरवरी को होगी।

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