हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला बोले, कृषि कानून ठीक, आंदोलन के नाम पर हो रही राजनीति

हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने किसानों के आंदोलन की जरूरत व वैधता पर सवाल उठाए हैं। कहा कि यह आंदोलन राजनीतिक हो चुका है। तीन कृषि कानूनों में कुछ भी ऐसा नहीं है जिसका विरोध किया जाए।

By Kamlesh BhattEdited By: Publish:Thu, 17 Jun 2021 08:07 AM (IST) Updated:Thu, 17 Jun 2021 08:22 AM (IST)
हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला बोले, कृषि कानून ठीक, आंदोलन के नाम पर हो रही राजनीति
हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला की फाइल फोटो।

जेएनएन, चंडीगढ़। मुख्यमंत्री मनोहर लाल और गृह मंत्री अनिल विज के तल्ख तेवरों के बाद अब डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला भी किसान जत्थेबंदियों के आंदोलन पर भड़क पड़े हैं। दुष्यंत चौटाला ने इस आंदोलन की जरूरत और वैधता पर सवाल उठाए हैं। दुष्यंत ने कहा कि अब यह आंदोलन किसानों की मांग का नहीं रहा, बल्कि पूरी तरह से राजनीतिक शक्ल अख्तियार कर चुका है।

दुष्यंत चौटाला ने कहा कि आंदोलनकारियों को किसानों से कोई मतलब नहीं है। उनका सिर्फ एक ही ध्येय है और वह भाजपा-जजपा गठबंधन के नेताओं का विरोध करना है। दो अलग-अल विभागीय बैठकों के बाद मीडिया कर्मियों के सवालों का जवाब देते हुए दुष्यंत चौटाला ने कहा कि मैं भी किसान हूं। किसानों को इस आंदोलन में मोहरा बनाया जा रहा है। तीन कृषि कानूनों में कुछ भी ऐसा नहीं है, जिसका विरोध किया जाए।

केंद्र सरकार संबंधित जत्थेबंदियों से बार-बार वार्ता कर रही थी, लेकिन उनकी मंशा बातचीत कर समस्या का समाधान निकालने की नहीं, बल्कि माहौल को बिगाड़ने तथा गठबंधन की सरकार का राजनीतिक विरोध करने की थी और अभी भी बनी हुई है। दुष्यंत चौटाला ने कहा कि इस पूरे आंदोलन को राजनीतिक लोग चला रहे हैं। कई लोग परदे के पीछे रहकर इन आंदोलनकारियों को समर्थन दे रहे हैं। उनकी मंशा किसान हित की नहीं है।

दुष्यंत चौटाला ने कहा कि जो जत्थेबंदियां अभी भी आंदोलन कर रही हैं, उन्हें भी ऐसे राजनीतिक दलों की मंशा समझनी चाहिए। अब भी जो लोग आंदोलन की अगुवाई कर रहे हैं, वह चुनाव लड़ना चाहते हैं। उनके राजनीतिक ख्वाब हैं, जो अपने खेतों में दिन रात काम कर रहे भोले-भाले किसानों के कंधे पर सिर रखकर नहीं देखे-पूरे किए जा सकते।

दुष्यंत चौटाला ने कहा कि सिर्फ राजनीति के लिए बीजेपी-जेजेपी का विरोध हो रहा है। उन्होंने तल्ख अंदाज में कहा कि यदि कोई किसान संगठन आंदोलन के नाम पर कानून तोड़ेगा तो वह किसी सूरत में नहीं बख्शा जाएगा। ऐसी ही बात गृह मंत्री अनिल विज भी कह चुके हैं। बता दें कि किसान संगठनों से जुड़े लोग कई बार दुष्यंत के घेराव की कोशिश कर चुके हैं। उन्होंने हाल ही में झज्जर में भाजपा कार्यालय की नींव उखाड़ दी थी, जिसके बाद अनिल विज ने कहा कि वहां किसी सूरत में भाजपा कार्यालय के बजाय किसान भवन नहीं बनने दिया जाएगा और ऐसे लोगों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई होगी। 

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