किसान महापंचायत के जरिये हरियाणा में जनाधार बढ़ाने की तैयारी में केजरीवाल, AAP में नई जान की कोशिश

Kisan Mahapanchayat दिल्‍ली के मुख्‍यमंत्री और आम आदमी पार्टी के राष्‍ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल हरियाणा में पार्टी का जनाधार बढा़ने की कोशिश में हैं। वह हरियाणा में पार्टी का जनाधार बढा़ने के लिए किसान महापंचायत का सहारा लेंगे।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Publish:Wed, 31 Mar 2021 10:43 AM (IST) Updated:Wed, 31 Mar 2021 10:43 AM (IST)
किसान महापंचायत के जरिये हरियाणा में जनाधार बढ़ाने की तैयारी में केजरीवाल, AAP में नई जान की कोशिश
दिल्‍ली के मुख्‍यमंत्री अर‍विंद केजरीवाल की फाइल फोटो।

चंडीगढ़, [अनुराग अग्रवाल]। हरियाणा में 2019 के विधानसभा चुनाव के बाद से सुस्त पड़ी आम आदमी पार्टी किसानों के बूते एक बार फिर अपना आधार बनाने की तैयारी में है। इसके लिए पार्टी सुप्रीमो और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने जाट बाहुल्य इलाका जींद को चुना है। किसी भी राजनीतिक दल द्वारा नए सिरे से पारी की शुरुआत के लिए जींद को पहली पसंद माना जाता है। जाटों के प्रभाव वाले इस इलाके से निकला राजनीतिक संदेश पूरे प्रदेश में असर करता है।  

जाट बाहुल्य जींद में चार अप्रैल को राज्य स्तरीय किसान महापंचायत का खाका तैयार

आम आदमी पार्टी ने चार अप्रैल को जींद के सेक्टर नौ स्थित हुडा मैदान में किसान महापंचायत करने का फैसला किया है। यह वही मैदान है, जहां बीरेंद्र ¨सह कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हुए थे और उन्होंने भाजपा अध्यक्ष के नाते केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की रैली कराई थी। जींद से ही जननायक जनता पार्टी के नेता दुष्यंत चौटाला ने अपनी नई राजनीतिक पारी की शुरुआत की थी। भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने मुख्यमंत्री बनने से पहले जींद से किसानों से जुड़े मुद्दों को लेकर पदयात्रा निकाली थी।

भाजपा भी यहां अपनी पार्टी के राष्ट्रीय नेताओं की रैलियां कर चुकी है। अब दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जींद में किसानों की महापंचायत का आयोजन कर न केवल सरकार पर तीन कृषि कानूनों को वापस लेने का दबाव बनाने जा रहे हैं, बल्कि प्रदेश की जनता को यह संदेश देने की कोशिश में हैं कि आम आदमी पार्टी हरियाणा में अपनी राजनीतिक हिस्सेदारी किसी सूरत में कम नहीं होने देने वाली है।

कांग्रेस की फूट और टिकैत-चढूनी से नजदीकियां बनेंगी केजरीवाल की राजनीतिक ताकत

जींद की इस किसान महापंचायत के संयोजक राज्यसभा सदस्य डा. सुशील गुप्ता हैं। दिल्ली-हरियाणा बार्डर पर जमा किसानों के बीच सुशील गुप्ता कई बार जा चुके हैं। महापंचायत के संयोजक के नाते गुप्ता कई जिलों का दौरा कर चुके हैं। अंदरूनी तौर पर सारी तैयारी पूरी करने के बाद ही उन्होंने जींद में किसान महापंचायत रखने का ऐलान किया है। इस रैली में पंजाब के आम आदमी पार्टी के प्रमुख नेता भी अर¨वद केजरीवाल के साथ मंच पर दिखाई देंगे। किसान नेताओं में राकेश टिकैत और गुरनाम चढ़ूनी भी नजर आ जाएं तो कोई हैरान कर देने वाली बात नहीं होगी।

डा. सुशील गुप्ता ने किसान महापंचायत में कम से कम 50 हजार और अधिकतम एक लाख किसानों को जोड़ने की रूपरेखा तैयार की है। नवीन जयहिंद जब आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष थे, तब पार्टी राज्य में काफी सक्रिय थी। अपने व्यक्तिगत कारणों की वजह से जयहिंद ने पार्टी के कार्यक्रमों से दूरी बना ली है, जिसका नतीजा यह हुआ कि कार्यकर्ता असमंजस में पड़ गए। हालांकि इस दौरान सुशील गुप्ता का प्रदेश में आना जाना लगा रहा।

अब किसान महापंचायत के जरिये आम आदमी पार्टी प्रदेश में अपना जनाधार बढ़ाने के साथ ही केंद्र को यह संदेश देगी कि तीन कृषि कानूनों को वापस लेने के मुद्दे पर वह किसानों के साथ है। आम आदमी पार्टी की यह रैली राज्य में बिखरी हुई कांग्रेस के लिए भी किसी चुनौती से कम नहीं होगी।

 टिकैत व चढूनी समेत सभी किसान नेताओं को महापंचायत का बुलावा

किसान महापंचायत के संयोजक राज्यसभा सदस्य डा. सुशील गुप्ता के अनुसार यह कार्यक्रम विशुद्ध रूप से किसानों से जुड़ा हुआ है। पार्टी सुप्रीमो अरविंद केजरीवाल इस रैली में पहुंचकर किसानों का हौसला बढ़ाएंगे और आगे की लड़ाई तय करेंगे। इस महापंचायत में शामिल होने के लिए हमने सभी किसान संगठनों को न्यौता दिया है।

इनमें आम आदमी पार्टी के टिकट पर अपनी पत्‍नी को चुनाव लड़वा चुके भाकियू नेता गुरनाम सिंह चढूनी भी शामिल हैं और वरिष्ठ किसान नेता राकेश टिकैत समेत अन्य प्रमुख नेताओं को भी बुलाया गया है। अरविंद केजरीवाल के साथ टिकैत या चढूनी के अलावा कौन-कौन मंच साझा करेंगे, यह कहना मुश्किल है, लेकिन किसानों के हितों की बात करने वाले प्रत्येक किसान नेता का हम स्वागत करने को तैयार हैं।

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