नूंह में सबसे ज्यादा तो फिरोजपुर झिरका में कम बरसे बदरा
जागरण संवाददाता नूंह इस समय बरसात किसानों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। पानी के इंत
जागरण संवाददाता, नूंह: इस समय बरसात किसानों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। पानी के इंतजार में बैठे किसानों के चेहरे अच्छी बारिश से खिल गए हैं। यह मानना है कृषि विभाग के उप निदेशक डा. महावीर सिंह का।
उन्होंने बताया कि जिले में नूंह खंड में सबसे अधिक 30 मिलीमीटर बारिश हुई है तो फिरोजपुर झिरका खंड में सबसे कम एक मिमी बारिश रिकार्ड की गई। इसके अलावा तावडू खंड में 15 मिलीमीटर, नगीना खंड में 12 मिमी तथा पुन्हाना खंड में 3 मिमी बरसात दर्ज की गई।
उन्होंने बताया कि बरसात गेहूं तथा सरसों की फसल के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। दलहन, तिलहन इत्यादि फसलों में इस बरसात से जिले में उत्पादन बढ़ने से इन्कार नहीं किया जा सकता है।
उन्होंने बताया कि बरसात राज्य के सभी किसानों के लिए बेहद लाभकारी है, लेकिन सबसे ज्यादा लाभकारी नूंह जिले के किसानों के लिए है, क्योंकि यहां के हजारों किसान ऐसे हैं, जिनकी फसलों की सिचाई के लिए कोई साधन नहीं है। यहां खेती बरसात पर आधारित है और इस बरसात को बेमौसम बरसात नहीं कहा जा सकता है। इससे ठंड बढ़ेगी और जितनी ठंड बढ़ेगी, उतना ही गेहूं की फसल को लाभ होगा।
कृषि विभाग के उप निदेशक ने कहा की नगीना खंड के 50 गांवों में सिचाई के लिए पानी की एक बूंद नहीं है। इस बरसात से ऐसे शुष्क इलाकों में भी फसलों के उत्पादन की आस जग गई है। अभी भी आसमान पर बादल छाए हुए हैं और हल्की- हल्की बूंदाबांदी हो रही है। पिछले करीब 48 घंटों में सूरज दिखाई तो दिया है, लेकिन बादलों की लुकाछिपी का दौर जारी है।