सुहावने मौसम के बीच किया भोलेशंकर का जलाभिषेक

भोलेशंकर का पवित्र माह सावन के अंतिम सोमवार के साथ एक माह से चल रहा सावन का समापन हो गया।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 03 Aug 2020 06:09 PM (IST) Updated:Mon, 03 Aug 2020 06:09 PM (IST)
सुहावने मौसम के बीच किया भोलेशंकर का जलाभिषेक
सुहावने मौसम के बीच किया भोलेशंकर का जलाभिषेक

जागरण संवाददाता, नारनौल:

भोलेशंकर का पवित्र माह सावन के अंतिम सोमवार के साथ एक माह से चल रहे पूजा अर्चना संपन्न हो गए। सोमवार सुबह करीब ढाई से तीन बजे के बीच अच्छी बारिश होने से मौसम सुहावना हुआ। इस दौरान सुबह सुहावने मौसम के बीच श्रद्धालुओं ने भगवान भोलेशंकर का जलाभिषेक कर सुख समृद्धि की कामना की। सोमवार को श्रद्धालुओं ने सुबह से शाम तक शिवालयों में पूजा अर्चना कर सुख समृद्धि की कामना की। कोविड-19 की वजह से पहली बार सावन के महीने में शिवालयों में हरिद्वार या गोमुख से कांवड नहीं लाया जा सका। सावन के शिवरात्रि पर भी लोग शिवालयों पर कांवड़ नहीं चढ़ा पाए। सोमवार को ही आरंभ हुआ सावन का महीना पाचवें सोमवार को संपन्न हो गया। अन्य दिनों की अपेक्षा अंतिम सोमवार होने के कारण श्रद्धालुओं की भीड़ रही। बहुत से श्रद्धालुओं ने सावन माह में सोमवार का व्रत भी रखा हुआ था जो शाम को पूजा अर्चना के बाद खोल दिया। जिला के विभिन्न छोटे बड़े मंदिरों में शिवलिग पर जलाभिषेक करने श्रद्धालु पहुंचे।

बाघेश्वरी धाम पर रही भीड़:

रक्षा बंधन के साथ सावन माह संपन्न हो गया है। कनीना क्षेत्र के बाघेश्वरी धाम पर भीड़ जुटी। इस बार कांवड़ अर्पित नहीं की गई वहीं मेले भी नहीं लगे। महिलाओं ने व्रत रखा तथा दिनभर शिवलिग अभिषेक कार्यक्रम चलता रहा। कनीना के विभिन्न शिवालयों में शिव को याद किया। व्रत धारण करके स्त्री एवं पुरुषों ने पूजा अर्चना की और ओम नम: शिवाय के जयकारे लगे। कनीना में सावन माह के पांचवें सोमवार को शिवालयों में अच्छी भीड़ रही। कनीना के 21 फुट ऊंचे शिव प्रतिमा वाले शिवालय में सुबह से ही भक्तजन शिवलिग का अभिषेक करते रहे। भक्त भरपूर सिंह, रोहित कुमार, शकुंतला देवी ने बताया कि दिनभर भक्तों का यहां तांता लगा रहा। कनीना के ज्योतिषाचार्य अरविद जोशी के अनुसार व्रत धारण करने वालों के लिए सावन का सोमवार सबसे बेहतर होता है।

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