श्रीकृष्णा राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय विवि का हिस्सा,

श्रीकृष्णा राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय को श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय में मर्ज किए जाने की अटकलों पर बुधवार को विराम लग गया है।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 28 Oct 2021 12:50 AM (IST) Updated:Thu, 28 Oct 2021 12:50 AM (IST)
श्रीकृष्णा राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय विवि का हिस्सा,
श्रीकृष्णा राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय विवि का हिस्सा,

जागरण संवाददाता, कुरुक्षेत्र : श्रीकृष्णा राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय को श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय में मर्ज किए जाने की अटकलों पर बुधवार को विराम लग गया है। वाट्सएप पर घूम रहे स्वास्थ्य एवं आयुष विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव की ओर से जारी एक पत्र में साफ तौर पर लिखा गया है कि आयुर्वेदिक महाविद्यालय विश्वविद्यालय का ही हिस्सा है। जबकि महाविद्यालय को श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय में मर्ज नहीं किए जाने की मांग को लेकर महाविद्यालय के शिक्षक व गैर शिक्षक कर्मचारी भूख हड़ताल तक कर चुके हैं। इतना ही नहीं यह मुद्दा विधानसभा तक में भी उठा। मगर वाट्सएप पर घूम रहे पत्र के मुताबिक सितंबर 2017 में जारी श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय के एक्ट में ही महाविद्यालय के मर्ज की बात साफ तौर पर लिखी है। विश्वविद्यालय के कुलसचिव डा. नरेश भार्गव ने भी कहा कि जारी किए गए पत्र में साफ तौर पर लिखा है कि एक्ट बनने के साथ ही महाविद्यालय की संपत्ति और तमाम अधिकार विश्वविद्यालय के होंगे।

विधानसभा में उठ चुका है मुद्दा

श्रीकृष्णा राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय का शिक्षक संघ और गैर शिक्षक संघ मर्जर के खिलाफ आंदोलनरत था। शिक्षक संघ ने इसी साल भूख हड़ताल भी की थी और यह मांग की थी कि महाविद्यालय और स्टाफ का सरकारी स्टेटस बरकरार रखा जाए। इस मांग को लेकर शिक्षक संघ भूख हड़ताल भी कर चुका है, जिससे विधायक सुभाष सुधा ने आकर आश्वासन देकर स्थगित करवाया था। यह मामला विधायक सुभाष सुधा ने विधानसभा में भी उठाया था। स्टाफ इस मांग को लेकर स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज के दरबार में भी पहुंचा था।

नए पत्र में साफ लिखा : कुलसचिव

श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय के कुलसचिव डा. नरेश भार्गव ने कहा कि विश्वविद्यालय के अस्तित्व में आते ही महाविद्यालय को इसके अंतर्गत कर दिया गया था। इसका जिक्र वर्ष 2017 में जारी किए गए श्रीकृष्णा आयुष विश्वविद्यालय एक्ट में है। मगर समय-समय पर क्लैरिफिकेशन जारी किए जाते रहते हैं। नए पत्र में साफ लिखा हुआ है कि महाविद्यालय की तमाम चल-अचल संपत्ति विश्वविद्यालय के अंतर्गत है।

हनुमान जयंती तीन नवंबर को मनेगी

संवाद सहयोगी, लाडवा : लाडवा-पिपली रोड पर मथाना चौकी

स्थित अखंड सिद्ध हनुमान मंदिर में तीन नवंबर दिन बुधवार को हनुमान जयंती धूमधाम से मनाई जाएगी। यह जानकारी मंदिर के संचालक स्वामी सत्यानंद महाराज ने बुधवार को मंदिर में पत्रकारों को दी। उन्होंने बताया कि हनुमान जयंती के मुख्य यजमान राम ईश्वर निवासी मुरादनगर होंगे। जयंती पर मंदिर में सुबह 10 बजे सुंदर कांड का पाठ, 11 बजे हवन व 12 बजे विशाल भंडारे का आयोजन भी किया जाएगा। स्वामी ने कहा कि हनुमान जी अपने भक्तों पर कभी संकट

नहीं आने देते। क्योंकि हनुमान जी भगवान श्री राम के सच्चे भक्त थे।

उन्होंने बताया कि हनुमान भक्त शुद्ध व सच्चे मन से हनुमान की भक्ति करे तो हनुमान अपने सच्चे भक्तों पर कभी संकट नहीं आने देते। स्वामी ने हनुमान भक्तों को हनुमान जयंती में बढ़-चढ़कर भाग लेने की बात कहीं।

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