टेंडर घोटाले के आरोपों को बेबुनियाद बताने वाले अधिकारी बैकफुट पर

नगर परिषद में टेंडर घोटाले के आरोपों को निराधार बताने वाले अधिकारी खुद बैकफुट पर आ गए हैं। अधिकारियों ने नई सड़कों के करोड़ों के टेंडर रद कर दिए हैं। अब पैचवर्क का काम होगा।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 22 Nov 2021 08:19 PM (IST) Updated:Mon, 22 Nov 2021 08:19 PM (IST)
टेंडर घोटाले के आरोपों को बेबुनियाद बताने वाले अधिकारी बैकफुट पर
टेंडर घोटाले के आरोपों को बेबुनियाद बताने वाले अधिकारी बैकफुट पर

जागरण संवाददाता, कुरुक्षेत्र : नगर परिषद में टेंडर घोटाले के आरोपों को निराधार बताने वाले अधिकारी खुद बैकफुट पर आ गए हैं। अधिकारियों ने नई सड़कों के करोड़ों के टेंडर रद कर दिए हैं। अब पैचवर्क का काम होगा। विदित है कि सेक्टरों में सड़कों के पैचवर्क के 45 लाख के टेंडर जारी किए थे। आरोप है कि इनमें से दो सड़कों को नई बनाने के करीब चार करोड़ के टेंडर भी जारी कर दिए हैं।

नगर परिषद के कार्यकारी अभियंता सुरेंद्र सिंह व एमई नवीन कुमार ने बताया कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल के आदेशानुसार शहर को गड्ढ़ा मुक्त करने का कार्य पहले 30 अक्टूबर तक किया जाना था, लेकिन मुख्यमंत्री मनोहर लाल 30 नवंबर 2021 तक समय दिया गया है। इन आदेशानुसार के बाद नप ने शहर की सड़कों पर पैच करने का कार्य तेज कर दिया गया है। नप द्वारा कई सड़कों पर कार्य पूरा भी कर लिया गया है। नप के अधिकारियों ने शहर की सड़कों के पैचवर्क के कार्य को पूरा करने के बाद सरकार को प्रमाण पत्र भी देना होगा।

उन्होंने कहा कि शहर की सड़कों का नवीनीकरण करने के लिए नगर परिषद ने सात अक्टूबर को टेंडर जारी किए गए थे। यह टेंडर 14 अक्टूबर को खोले गए। इस दौरान विभिन्न सड़कों के लिए एक या दो एजेंसियों ने ही टेंडर भरे थे। नियमानुसार सड़कों के लिए दोबारा 3 नवंबर 2021 को टेंडर जारी किए गए और 12 नवंबर को टेंडर खोले गए। इस बार भी कोई एजेंसी शर्तों को पूरा नहीं कर पाई। इन तमाम तकनीकी पहलुओं को जहन में रखते हुए नगर परिषद की तरफ से टेंडर रद कर दिए हैं। उन्होंने कहा कि इन तमाम विषयों को जहन में रखते हुए और मुख्यमंत्री मनोहर लाल के आदेशानुसार अब नगर परिषद की तरफ से केवल शहर की सड़कों का पैचवर्क का कार्य ही किया जाएगा ताकि लोगों को राहत मिल सके।

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