कोरोना को मात देने में फायदेमंद है आयुर्वेदिक पद्धति : डा. कुलदीप

शाहाबाद कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए जहां एक तरफ नियमों की पालना जरूरी है वहीं दूसरी तरफ शारीरिक क्षमता और दक्षता बढ़ाने के साथ-साथ कोरोना को मात देने के लिए आयुर्वेदिक पद्धति भी बहुत फायदेमंद सिद्ध हो रही है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 16 Jun 2021 07:16 AM (IST) Updated:Wed, 16 Jun 2021 07:16 AM (IST)
कोरोना को मात देने में फायदेमंद है आयुर्वेदिक पद्धति : डा. कुलदीप
कोरोना को मात देने में फायदेमंद है आयुर्वेदिक पद्धति : डा. कुलदीप

संवाद सहयोगी, शाहाबाद : कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए जहां एक तरफ नियमों की पालना जरूरी है, वहीं दूसरी तरफ शारीरिक क्षमता और दक्षता बढ़ाने के साथ-साथ कोरोना को मात देने के लिए आयुर्वेदिक पद्धति भी बहुत फायदेमंद सिद्ध हो रही है। आयुर्वेदिक चिकित्सकों की सलाह से काढ़ा या फिर आयुर्वेद दवाओं का उपयोग करते रहना चाहिए।

शाहाबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के अतिरिक्त एसएमओ डा. कुलदीप राज ने कहा कि कोविड-19 के दृष्टिगत सतर्क रहते हुए एवं शत प्रतिशत हिदायतों की पालना ही इसके संक्रमण से बचा जा सकती है। हमें रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए आयुर्वेद पद्धति को प्राथमिकता के आधार पर अपनाना होगा। वैसे अपने-अपने क्षेत्र में सभी पद्धतियों का कोरोना संक्रमण को रोकने में विशेष योगदान है। उन्होंने कहा कि आयुर्वेदिक पद्धति के माध्यम से बीमारियों से बचाव और उन्मूलन में सहायता मिलती हैं। शरीर को मजबूत बनाए रखने में प्राचीन समय से ही आयुर्वेदिक पद्धति बीमारी के लिए कारगर सिद्ध हुई है।

कुवि के 10 शोधार्थी पीएचडी के लिए पात्र घोषित

जागरण संवाददाता, कुरुक्षेत्र : कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा ने शोध समिति तथा परीक्षकों के बोर्ड की अनुशंसा पर 10 शोधार्थियों को पीएचडी उपाधि के लिए पात्र घोषित किया है। लोक संपर्क विभाग के उपनिदेशक डा. दीपक राय बब्बर ने बताया कि पीएचडी उपाधि के पात्र घोषित किए गए शोधार्थियों में हिन्दी विभाग से इकबाल, वाणिज्य से गणेश दास व ईना, जनसंचार एवं मीडिया प्रौद्योगिकी संस्थान से सरिना, टूरिज्म मैनेजमेंट से कृतिका शर्मा, संस्कृत से सुरेंद्र सिंह व सुनित कुमार, अर्थशास्त्र से इंदु चौहान व अलका रंगा और लोक प्रशासन विभाग से सुदेश रानी शामिल हैं।

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