रिश्तों की डोर पर असर डाल रहा कमजोर मोबाइल नेटवर्क

कोरोना महामारी के दौरान ऑनलाइन सिस्टम को भरपूर बढ़ावा मिला है लेकिन गांवों में इंटरनेट स्पीड नहीं मिल पा रही है। तकनीकी स्तर पर मजबूत होने के बावजूद गांवों में इंटरनेट समस्या का सामना करना पड़ रहा है। हरियाणा और उत्तर प्रदेश सीमा के कारण गांव चंद्राव में ग्रामीणों को मोबाइल फोन का नेटवर्क नहीं पहुंच पाता है।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 01 Jun 2020 09:00 AM (IST) Updated:Mon, 01 Jun 2020 09:00 AM (IST)
रिश्तों की डोर पर असर डाल रहा कमजोर मोबाइल नेटवर्क
रिश्तों की डोर पर असर डाल रहा कमजोर मोबाइल नेटवर्क

अमित सिंहमार, गढ़ी बीरबल

कोरोना महामारी के दौरान ऑनलाइन सिस्टम को भरपूर बढ़ावा मिला है, लेकिन गांवों में इंटरनेट स्पीड नहीं मिल पा रही है। तकनीकी स्तर पर मजबूत होने के बावजूद गांवों में इंटरनेट समस्या का सामना करना पड़ रहा है। हरियाणा और उत्तर प्रदेश सीमा के कारण गांव चंद्राव में ग्रामीणों को मोबाइल फोन का नेटवर्क नहीं पहुंच पाता है। गांव में पिछले तीन माह से तेज इंटरनेट सुविधा के दावे फेल साबित हो रहे हैं। लॉकडाउन के कारण अधिकतर लोग घर में रहकर अपना काम करवा रहे हैं, लेकिन उपभोक्ताओं को इंटरनेट की हाई स्पीड न मिलने के कारण परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। ऑनलाइन बिजली बिल भरने व सरकारी योजनाओं के लिए आवेदन करने के दौरान नेटवर्क बार-बार परेशान करता है। विदेश में रहने वाले स्वजनों को बच्चों से बात के लिए घंटों मोबाइल टॉवर तलाशने पड़ रहे हैं। रात को जागना बन गई मजबूरी

मुकुल देव ने बताया कि अधिकतर कामकाज ऑनलाइन करना पड़ता है, लेकिन स्पीड नहीं मिल रही है। पैसे खर्च करने के बावजूद पैक बिना प्रयोग किए ही खत्म हो जाता है। डाटा रिचार्ज पैक का केवल पांच फीसद प्रयोग कर पा रहे हैं। मोबाइल नेटवर्क की तलाश के लिए कभी-कभार पूरी रात जागना पड़ जाता है।

योजनाओं के आवेदन में अड़चन

प्रिस का कहना है कि कई साल से कंपनियों को शिकायत कर रहे परंतु कोई परिवर्तन देखने को नहीं मिला। गांव में किसी कंपनी का नेटवर्क सही नहीं आता है। नेटवर्क नहीं होने के कारण सीएससी का काम नहीं हो पा रहा है। योजनाओं के आवेदन के लिए गांव के लोगों को गढ़ी बीरबल जाना पड़ता है।

विदेश में फोन करने पर परेशानी

नवल किशोर का कहना है कि कोरोना संकट के दौरान विदेश में रह रहे भाई से बातचीत करने के लिए बार-बार प्रयास करना पड़ता है। मोटी राशि खर्च करके डाटा पैक डलवाया जाता है, लेकिन इंटरनेट समस्या के कारण सही से बात नहीं हो पाती। कमजोर नेटवर्क से गांव में रहकर रिश्तेदारी में बात करने में मुश्किल होती है। वीडियो कॉल नहीं हो पाती

गुरप्रीत सिंह ने बताया है कि उसके चाचा अमेरिका में रहते हैं। वीडियो कॉल के लिए गांव से बाहर जाना पड़ता है। गांव में बात करने पर बार-बार कालिग हैंग हो जाती है। घर के सभी सदस्य वीडियो कॉलिग में हिस्सा नहीं ले पाते हैं। कई बार रात तीन से चार बजे के बीच बात करनी पड़ती है।

कंपनी का काम नहीं कर पाता

राजीव गुप्ता ने बताया कि गुजरात की कंपनी में काम करता हूं और लॉकडाउन के चलते घर में रह कर सारा काम करना पड़ रहा है। कंपनी से फोन आने पर प्रोजेक्ट पर काम करने के लिए लैपटॉप पर बैठता हूं तो इंटरनेट की स्पीड परेशान करने लगती है। गुजरात रहता हूं तो नेटवर्क न मिलने के कारण घर के सदस्यों से बात नहीं हो पाती है।

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