साइट हुई बंद , लोग दर्ज नहीं करवा पा रहे प्रॉपर्टी को लेकर आपत्ति

शहर में याशी कंसलटेंसी की तरफ से प्रॉपर्टी को लेकर सर्वे किया गया था। सर्वे के अनुसार शहर में 74 हजार प्रॉपर्टी हैं। प्रॉपर्टी की जानकारी को लेकर लोगों से आपत्तियां मांगी जा रही थी। पांच दिनों से साइट बंद होने के कारण लोग आपत्ति दर्ज नहीं करवा पा रहे हैं। कोरोना के कारण लॉकडाउन लगा हुआ है।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 10 May 2021 06:39 AM (IST) Updated:Mon, 10 May 2021 06:39 AM (IST)
साइट हुई बंद , लोग दर्ज नहीं करवा  पा रहे प्रॉपर्टी को लेकर आपत्ति
साइट हुई बंद , लोग दर्ज नहीं करवा पा रहे प्रॉपर्टी को लेकर आपत्ति

जागरण संवाददाता, कैथल : शहर में याशी कंसलटेंसी की तरफ से प्रॉपर्टी को लेकर सर्वे किया गया था। सर्वे के अनुसार शहर में 74 हजार प्रॉपर्टी हैं। प्रॉपर्टी की जानकारी को लेकर लोगों से आपत्तियां मांगी जा रही थी। पांच दिनों से साइट बंद होने के कारण लोग आपत्ति दर्ज नहीं करवा पा रहे हैं। कोरोना के कारण लॉकडाउन लगा हुआ है।

ऑनलाइन के साथ नप कार्यालय में भी आपत्तियां ली जा रही थी। लोग अब नप कार्यालय में भी नहीं पहुंच पा रहे हैं। अब तक करीब 30 लोगों ने ही आपत्ति दर्ज करवाई है। आपत्ति लेने के बाद नगर परिषद की तरफ से एक कमेटी बनाई जाएगी जो कागजातों की जांच करेगी। मौके पर लोगों को बुलाकर उनकी गलतियां ठीक करेगी। यह कार्य पूरा होने के बाद शहर की हर प्रॉपर्टी को ऑनलाइन कर दिया जाएगा। इसके बाद शहर के लोग घर बैठे ही प्रॉपर्टी टैक्स भर सकेंगे। उन्हें इस कार्य के लिए नगर परिषद के चक्कर लगाने की जरूरत नहीं होगी।

सर्वे में की गई हैं गलतियां

एजेंसी के सर्वे में गलतियों की भरमार है, लेकिन फिलहाल लोग सामने नहीं आ रहे हैं। कुछ घरों को एजेंसी ने दो भागों में बांट दिया है और उनकी जानकारी भी पूरी नहीं दर्ज की है। कई घरों की प्रॉपर्टी आइडी तो दी गई है, लेकिन मालिक का नाम नहीं लिखा हुआ है। घर या दुकान के एरिया को भी बढ़ाकर दिखाया गया है। सर्वे के दौरान अगर मकान मालिक नहीं मिला था तो एजेंसी के कर्मचारियों ने आधी अधूरी जानकारी दर्ज की हुई हैं। इस तरह की गलतियों का खामियाजा लोगों को भुगतना पड़ सकता है।

आपत्ति दर्ज करवाने वाली साइट बंद नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी बलबीर सिंह ने बताया कि प्रॉपर्टी की जानकारी को लेकर आपत्ति दर्ज करवाने वाली साइट बंद है। लॉकडाउन खुलने के बाद इस बारे में उच्च अधिकारियों को लिखा जाएगा।

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