सिरसा में घग्घर का जलस्तर घटना शुरू, करीब चार हजार क्यूसिक पानी हुआ कम, खतरा अभी भी बरकरार

घग्घर नदी में जलस्तर घटना शुरू हो गया है। शुक्रवार रात से पानी घटना शुरू हो गया है। शुक्रवार को जहां 28000 क्यूसिक पानी था वहीं अब 24 हजार क्यूसिक पानी रहा है। हालांकि नदी के आसपास के ग्रामीण व प्रशासनिक अधिकारी ठीकरी पहरा दे रहे हैं।

By Manoj KumarEdited By: Publish:Tue, 03 Aug 2021 11:34 AM (IST) Updated:Tue, 03 Aug 2021 11:34 AM (IST)
सिरसा में घग्घर का जलस्तर घटना शुरू, करीब चार हजार क्यूसिक पानी हुआ कम, खतरा अभी भी बरकरार
ग्रामीण बोले घग्‍घर में पानी जरूर कम हुआ है लेकिन खतरा अभी नहीं टला

जागरण संवाददाता, सिरसा : सिरसा में घग्घर नदी में जलस्तर घटना शुरू हो गया है। शुक्रवार रात से पानी घटना शुरू हो गया है। शुक्रवार को जहां 28000 क्यूसिक पानी था वहीं अब 24 हजार क्यूसिक पानी रहा है। हालांकि नदी के आसपास के ग्रामीण व प्रशासनिक अधिकारी ठीकरी पहरा दे रहे हैं। ग्रामीणों ने नदी किनारे तटबंधों को मजबूत करने के लिए ट्रैक्टर ट्रालियों की मदद से मिट्टी डाली जा रही है, इसके साथ ही प्लास्टिक के कट्टों में मिट्टी भर कर रखी गई है। प्रशासन द्वारा तटबंध पर लाइट का प्रबंध करवाया गया है।

--नदी उफान पर आने के कारण नदी के बेंड में बोया गया पशु चारा डूब चुका है साथ ही अनेक टयूबवेल भी पानी से घिर चुके हैं। शुक्रवार रात को तीन चार ईंच पानी कम हुआ है, जिसके बाद ग्रामीणों ने राहत की सांस ली है। ग्रामीणों ने बताया कि हालांकि पानी घटना शुरू हो गया है लेकिन अभी भी यह नहीं कह सकते की खतरा टल गया है। पहाड़ी एरिया में हो रही बरसात के कारण जलस्तर बढ़ भी सकता है। इसलिए किसान व प्रशासन किसी तरह का खतरा मोल नहीं लेना चाहते और लगातार बांधों पर निगरानी की जा रही है। ग्रामीणों का कहना है कि प्रशासन द्वारा पूरा सहयोग दिया जा रहा है। अधिकारी मौके पर पहुंचकर निरीक्षण कर रहे हैं और तटबंध पर लाइट, मिट्टी के लिए प्लास्टिक के कट्टे इत्यादि का प्रबंध करवाया गया है।

----2010 में घग्घर नदी के कारण सिरसा में बाढ़ आ गई थी, जिस कारण आसपास के गांववासियों को परेशानी झेलनी पड़ी थी। घग्घर में बाढ़ आने से आसपास के गांव जलमग्न हो गए थे। जिसके बाद प्रशासन व स्वयंसेवी संस्थाओं ने मिलकर तटंबधों को बाधा था और बाढ़ पर काबू किया था। बाढ़ प्रभावित लोगों को दूसरे स्थानों पर ले जाया गया था और उनके लिए हर संभव सहायता की गई थी।

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