बदलते मौसम में संभलकर करिये भोजन, बढ़ रहे उल्टी-दस्त के मरीज, ये रखें ध्यान
वहीं दूसरी ओर ओपीडी में रोजाना उल्टी दस्त और बुखार से पीड़ित दो से तीन दर्जन मरीजों को इलाज दिया जा रहा है। वायरल फीवर और संक्रमण के बुखार से पीड़ित मरीज भी इस मौसम में बढ़ रहे हैं। शरीर पर मौसम में बदलाव का असर तेजी से होता है।
भिवानी, जेएनएन। मौसम में लगातार बदलाव हो रहा है। दिन में गर्मी और रातें सर्द हो रहीं हैं। मौसम में इस बदलाव का असर और खानपान में मामूली सी लापरवाही से लोग बीमार पड़ रहे हैं। उल्टी-दस्त, बुखार, खांसी जुखाम की समस्या आम हो गई है। भिवानी जिले के ढिगावा, लोहारू क्षेत्र के अस्पतालों में वायरल बुखार, खांसी, जुखाम, उल्टी दस्त के मरीजों की संख्या देखी जाए तो रोजाना दो से तीन दर्जन लोग इलाज कराने के लिए डाक्टरों के पास अस्पताल पहुंच रहे हैं।
संक्रमण का सता रहा लोगों को डर
वायरल बुखार, उल्टी दस्त के बढ़ते मरीजों की वजह से इन दिनों लोगों को संक्रमण के फैलने का डर सता रहा है। वहीं दूसरी ओर ओपीडी में रोजाना उल्टी दस्त और बुखार से पीड़ित दो से तीन दर्जन मरीजों को इलाज दिया जा रहा है। वायरल फीवर और संक्रमण के बुखार से पीड़ित मरीज भी इस मौसम में बढ़ रहे हैं। शरीर पर मौसम में बदलाव का विपरीत असर तेजी से होता है।
उल्टी दस्त से निर्जलीकरण से पीड़ित हो रहे लोग
मेडिकल ऑफिसर डॉ. गौरव चतुर्वेदी ने बताया कि उल्टी-दस्त, वायरल बुखार, खांसी जुखाम के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। उल्टी दस्त से निर्जलीकरण की समस्या होती है। शरीर में पानी की कमी से गंभीर मरीजों को इलाज के लिए वार्डों में भर्ती किया जा रहा है। अधिकांश मरीजों में दस्त की वजह से बीपी लो होने की समस्या आती है। ऐसी स्थिति में मरीजों को इलाज न मिले तो जान जाने का खतरा बना रहता है।
तेज बुखार के भी बढ़े मरीज
ऐसे लोग जिनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होती है, उनके शरीर पर मौसम में बदलाव का विपरीत असर तेजी से होता है। इन दिनों मौसमी बुखार से पीडि़त मरीजों का इजाफा हुआ है। इसके अलावा वायरल फीवर और संक्रमण के मरीज भी इस मौसम में बढ़ रहे हैं।
बीमारी से बचाव के लिए ये रखें सावधानियां बाजार की खुली खाद्य सामग्री का सेवन न करें। ताजा भोजन का सेवन करें। हमेशा पानी उबालकर ही पीयें। महिलाएं खाना बनाते वक्त हाथ धोएं। नाखूनों को हमेशा छोटा रखें।