अव्यवस्थाओं के बीच काम करने को मजबूर माशाखोर
जागरण संवाददाता हिसार प्रदेश की टॉप फाइव मंडियों में शामिल करने की प्लानिग के साथ ब
जागरण संवाददाता, हिसार : प्रदेश की टॉप फाइव मंडियों में शामिल करने की प्लानिग के साथ बनी हिसार की नई सब्जीमंडी इन दिनों अव्यवस्थाओं की भेंट चढ़ चुकी है। वीरवार को 44.7 डिग्री तापमान के बीच भी माशाखोर ने अपना कारोबार किया। इस दौरान माशाखोर को प्रशासन की ओर से मिलने वाली सुविधाओं के हालात ये थे कि न तो वहां पेयजल है, न सुरक्षा के प्रबंध और न ही लाइट या पंखों की कोई व्यवस्था है। केवल स्थाल के अलावा माशाखोर के पास कोई सुविधा नहीं है। यह आरोप माशाखोर सेवा समिति के प्रधान मुकेश और सचिव हवा सिंह ने लगाते हुए कि प्रशासन सुविधाओं के नाम पर बड़ा खेल खेल रहे है।
---------
मंडी में ये है व्यवस्थाओं के हालात
पेयजल के लिए हैंडपंप तो लगाया हुआ है लेकिन पाइप के ऊपर लगा नलका गायब है। बात पेयजल व्यवस्था की करे तो मार्केट कमेटी में दो वाटर कूलर लगाए हुए है लेकिन वे बंद पकड़े है। हालात ये है कि वाटर कूलर के हिस्से में तो गोबर तक पड़ा हुआ है। शौचालय के बदहाल है। इसके अलावा शैड के नीचे बेसहारा पशु विचरते रहते है जो फल-सब्जियों को तो नुकसान पहुंचाते है। साथ ही वहां सब्जी लेने के लिए पहुंचने वालों को भी उनसे सुरक्षा का डर बना रहता है।
---------------------
माशाखोरों के साथ प्रशासन भेदभाव पूर्ण नीति अपना रहा है। हैंडपंप लगाया वह गायब है। वाटर कूलर बंद पड़े है। सुरक्षा का प्रबंध नहीं है। हमें मार्केट कमेटी प्रशासन की ओर से जगह देने के अलावा कोई सुविधा नहीं मिल रही है। इसके अलावा मंडी में सुविधाओं के नाम पर खर्च की राशि की जांच हो तो भ्रष्टाचार के कई बड़े खुलासे हो सकते है। हमारी जिला प्रशासन से मांग है कि नई सब्जीमंडी में संज्ञान लें।
- मुकेश कुमार, प्रधान, माशाखोर सेवा समिति हिसार।