Hisar coronavirus Update: हिसार में सोमवार को मिले इस साल के रिकॉर्ड 180 कोरोना केस, संभलने में है भलाई
अब हिसार जिला में 867 एक्टिव केस बकाया हैं। रिकवरी रेट 94.07 प्रतिशत से घटकर 93.46 प्रतिशत रह गया है। जिले में कोरोना के कुल मामलों की संख्या बढ़कर 18472 पर पहुंच गई है। वहीं अब तक 17208 मरीज स्वस्थ हुए।
हिसार, जेएनएन। हिसार जिले में कोराेना चरम पर है। जिले में कोरोना संक्रमण तेजी से बढ़ रहा है। जिले में आज 180 नए कोरोना केस आए हैं। इस साल के ये रिकॉर्ड केस हैं। अब जिला में 867 एक्टिव केस बकाया हैं। रिकवरी रेट 94.07 प्रतिशत से घटकर 93.46 प्रतिशत रह गया है। जिले में कोरोना के कुल मामलों की संख्या बढ़कर 18472 पर पहुंच गई है। वहीं अब तक 17208 मरीज स्वस्थ हुए।
रविवार को भी जिले में इस वर्ष कोरोना के अब तक के सर्वाधिक 177 नए मामले मिले। वहीं कोरोना से जिले में पहली बार एक तीन वर्षीय बच्ची की मौत भी हुई है। उकलाना निवासी तीन वर्षीय बच्ची को 5 अप्रैल को अग्रोहा मेडिकल में दाखिल करवाया गया था। 11 अप्रैल को उपचार के दौरान इसकी मौत हो गई। चिकित्सकों के अनुसार यह बच्ची अानुवांशिक बीमारी डाउन सिंड्रोम से ग्रस्त थी, इसमें बच्चों का उचित विकास नहीं हो पाता, वहीं बच्ची कोरोना संक्रमित होने के साथ-साथ एनीमिया और सांस की दिक्कत से परेशान थी। इधर कोरोना मरीजों के उपचार के लिए स्वास्थ्य विभाग ने तैयारियां शुरु कर दी है।
रविवार को पीएमओ कार्यालय में तैयारियों के लिए डाक्टरों की बैठक हुई। जिसमें पीएमओ ने वार्ड 11 में 60 बैड का आइसोलेशन वार्ड बनाने पर विचार-विमर्श किया। इसके लिए वार्ड 11 के कुछ मरीजों को छुट्टी दी गई, वहीं अन्य मरीजों को वार्ड 5 में शिफ्ट किया गया। गौरतलब है सिविल अस्पताल में पिछले वर्ष कोरोना केस बढ़ने पर 100 बैड का आइसोलेशन सेंटर बनाया गया था। वहीं उपचार के लिए पिछले साल अपनाए गए तरीकों को दोबारा से लागू किया जाएगा। जिसमें ट्राइएज में मरीजों की हिस्ट्री लेने और फ्लू वार्ड अलग-अलग किए जाएंगे। वहीं पुलिस ने मास्क ना पहनने पर 153 के चालान काटें।
विभाग ने कोरोना हेल्पलाइन नंबर जारी किए, लेकिन उठाता कोई नहीं
जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग की ओर से कोरेाना संक्रमण बढ़ने पर तीन हेल्पलाइन नंबर जारी किए है। लेकि तीनों ही नंबर पर कॉल तो जा रही है लेकिन इन्हें रिसीव नहीं किया जा रहा है। रविवार को इन नंबरों पर कॉल करके मरीजों ने जानकारी लेने की कोशिश की, लेकिन फोन रिसीव नहीं किए गए। इन नंबरों में सीएमओ हेल्पलाइन नंबर और डाक्टर के नंबर दिए है। गौरतलब है पिछले वर्ष प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग ने हेल्पलाइन नंबर जारी किए है उस दौरान डिप्टी सीएमओ डा. जया गोयल और डा. रमेश पूनिया के भी नंबर जारी किए गए थे, जिसमें कई बार देखने में आया कि इन अधिकारियों ने देर रात भी कॉल रिसीव कर मरीजों को उपचार मुहैया करवाया था।