जलभराव होते ही हरकत में आएगी क्विक रिस्पांस टीम

मानसून में जलभराव की समस्या के निदान को लेकर गुरुग्राम महानगर विकास प्राधिकरण (जीएमडीए) द्वारा क्विक रिस्पांस टीम (क्यूआरटी) बनाई गई है। क्यूआरटी के पास मोबाइल पंप और मशीनें होंगे।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 17 Jun 2021 05:30 PM (IST) Updated:Thu, 17 Jun 2021 05:30 PM (IST)
जलभराव होते ही हरकत में आएगी क्विक रिस्पांस टीम
जलभराव होते ही हरकत में आएगी क्विक रिस्पांस टीम

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: मानसून में जलभराव की समस्या के निदान को लेकर गुरुग्राम महानगर विकास प्राधिकरण (जीएमडीए) द्वारा क्विक रिस्पांस टीम (क्यूआरटी) बनाई गई है। क्यूआरटी के पास मोबाइल पंप और मशीनें होंगे। इस टीम के साथ नगर निगम का अमला भी जुड़ा रहेगा। इसको लेकर नगर निगम और जीएमडीए के अधिकारियों के साथ केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह वर्चुअल बैठक कर चुके हैं।

जीएमडीए के मुख्य कार्यकारी अधिकारी सुधीर राजपाल के मुताबिक जलभराव वाले स्थानों की पहचान कर वहां पर 25 जून तक आवश्यक प्रबंध करने का लक्ष्य रखा गया है। हीरो होंडा चौक पर जलभराव का गांव खांडसा के पास बादशाहपुर ड्रेन की चौड़ाई कम होना एक मुख्य कारण था जिसका इस बार समाधान कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि इस ड्रेन में पीछे से 2300 क्यूसेक पानी आता था और गांव खांडसा के पास इसकी पानी की निकासी की क्षमता 800 क्यूसेक होने की वजह से हीरो होंडा चौक और पीछे के क्षेत्रों में जलभराव होता था। अब इस 33 मीटर टुकड़े की चौड़ाई बढ़ाकर निर्माण कार्य किया जा रहा है, जिसे 25 जून तक पूरा करने की कोशिश है।

जलभराव वाले 20 स्थानों की हुई पहचान

एक कमेटी गठित करके बरसात में जलभराव वाले 20 स्थलों की पहचान की गई है, जो कि लोगों के लिए समस्या का कारण बनते हैं। इनमें 15 स्थल या बिदु जीएमडीए, चार बिदु नगर निगम और एक बिदु डीएलएफ के क्षेत्र में हैं। जीएमडीएम के 15 बिदुओं में से 12 पर काम या तो पूरा कर लिया गया है या 25 जून तक कर लिया जाएगा। उदाहरण के तौर पर सेक्टर 27 में सीता अपार्टमेंट के पास पानी भरता था, जिसका समाधान चकरपुर बंद के नीचे से पाईप लाइन डालकर किया गया है।

सुधीर राजपाल ने बताया कि दो बिदुओं इफको चौक और वाटिका चौक से एसपीआर तक ड्रेन बनाने का कार्य तत्काल संभव नहीं था इसलिए इन स्थानों पर ज्यादा संख्या में पंप लगाकर समस्या का समाधान किया जाएगा। नगर निगम के क्षेत्र में चार बिदुओं में से दो पर काम पूरा कर लिया गया है। उदाहरण के तौर पर रेलवे द्वारा दीवार बनाए जाने के कारण लक्ष्मण विहार में पानी भरता था, जिसका समाधान उस दीवार को कुछ जगहों पर तोड़कर पानी निकासी के प्रबंध किए जाएंगे। डीएलएफ द्वारा भी अरावली के उपरी हिस्से में पानी को रोकने के प्रबंध किए जा रहे हैं। भूजल रिचार्ज करने की भी योजना

बरसात के दिनों में जल निकासी के प्रबंधों के साथ शहर के पानी को बाहर निकालने की बजाय उसे कुछ अलग-अलग स्थानों पर एकत्रित करके भूमिगत जल को रिचार्ज करने की योजना भी बनाई गई है। नगर निगम क्षेत्र की रिपोर्ट प्रस्तुत करते हुए निगम आयुक्त मुकेश आहुजा ने बताया कि निगम क्षेत्र में जलभराव के 35 बिदुओं के अलावा, 45 नए बिदुओं की पहचान की गई है। इन स्थानों पर जलभराव न हो इसके लिए पर्याप्त संख्या में मशीनरी, पंप आदि किराये पर लिए जाएंगे। वर्चुअल बैठक में जीएमडीए के मुख्य कार्यकारी अधिकारी सुधीर राजपाल के अलावा उपायुक्त डा. यश गर्ग, नगर निगम आयुक्त मुकेश आहुजा व सिविल सर्जन डा. विरेंद्र यादव उपस्थित रहे।

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