पुलिस स्मृति दिवस पर वीर बलिदानियों को दी गई श्रद्धांजलि

पुलिस स्मृति दिवस पर बुधवार सुबह पुलिस लाइन में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि पुलिस आयुक्त केके राव सहित सभी अधीनस्थ अधिकारियों ने शहीद स्मारक पर पुष्प अर्पित कर वीर बलिदानियों को श्रद्धांजलि दी।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 21 Oct 2020 07:37 PM (IST) Updated:Wed, 21 Oct 2020 07:39 PM (IST)
पुलिस स्मृति दिवस पर वीर बलिदानियों को दी गई श्रद्धांजलि
पुलिस स्मृति दिवस पर वीर बलिदानियों को दी गई श्रद्धांजलि

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: पुलिस स्मृति दिवस पर बुधवार सुबह पुलिस लाइन में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि पुलिस आयुक्त केके राव सहित सभी अधीनस्थ अधिकारियों ने शहीद स्मारक पर पुष्प अर्पित कर वीर बलिदानियों को श्रद्धांजलि दी। इस मौके पर बलिदानियों के स्वजनों को सम्मानित भी किया गया।

पुलिस आयुक्त केके राव वीर बलिदानी राव रणबीर सिंह के पुत्र हैं। राव रणबीर सिंह हरियाणा पुलिस में पुलिस उपाधीक्षक (डीएसपी) के पद पर कार्यरत थे। एक अन्य बलिदानी ओमप्रकाश के स्वजन को पुलिस आयुक्त केके राव ने सम्मानित किया।

सभा को संबोधित करते हुए पुलिस आयुक्त केके राव ने कहा कि बलिदानियों का सम्मान ही राष्ट्र का सम्मान है। उनके प्रति कभी भी सम्मान में कमी नहीं होनी चाहिए। सम्मान देकर हम नई पीढ़ी को देश सेवा के प्रति प्रेरित करते हैं। पुलिस प्रवक्ता सुभाष बोकन ने बताया कि 30 अक्टूबर तक जगह-जगह कार्यक्रम आयोजित कर बलिदानियों को श्रद्धांजलि दी जाएगी। इधर, पुलिस शहीद फाउंडेशन ने भी पुलिस लाइन में शहीद स्मारक पर वीर बलिदानियों को श्रद्धांजलि दी। फाउंडेशन के अध्यक्ष व वरिष्ठ अधिवक्ता आरएल शर्मा ने कहा कि बलिदानियों की बदौलत ही हम सभी खुली हवा में सांस ले रहे हैं। श्रद्धांजलि देने के लिए फाउंडेशन के महासचिव दीपक मैनी एवं सदस्य व सेवानिवृत्त पुलिस इंस्पेक्टर चंद्रप्रकाश सहित कई सदस्य पहुंचे।

आतंकवादियों से मुकाबला करते हुए प्राणों का बलिदान दिया था: वीर बलिदानी राव रणबीर सिंह 1961 के दौरान हरियाणा पुलिस में सहायक उप-निरीक्षक के पद चयनित हुए थे। 31 मार्च 1989 को वह अंबाला में डीएसपी के पद पर तैनात थे। उन्हें सूचना मिली थी कि आतंकवादी कृषि विभाग पंजाब के कार्यालय से 70 हजार रुपये लूटकर भाग गए। सूचना मिलते ही वह आतंकवादियों को पकड़ने के लिए निकल गए थे। पिजौर के नजदीक आतंकवादियों के साथ हुई मुठभेड़ में रणबीर सिंह ने वीरता दिखाते हुए प्राणों न्योछावर कर दिए थे। जान की परवाह नहीं की थी ओमप्रकाश ने: गुरुग्राम जिले के गांव लोकरी निवासी ओमप्रकाश ने 21 नवंबर 1986 को हरियाणा पुलिस में बतौर सिपाही ज्वाइन किया था। पलवल इलाके में कुछ युवकों ने पुलिस टीम पर हमला किया था। ओमप्रकाश टीम में शामिल थे। पुलिसकर्मियों ने भी जवाब दिया मगर बदमाशों द्वारा चलाई गई गोली ओमप्रकाश को लग गई थी। उनकी पत्नी सुनीता को पुलिस आयुक्त केके राव ने सम्मानित किया।

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