सार्वजनिक परिवहन की सुविधा बढ़ने से सफर होगा आसान
साइबर सिटी में आइटी कंपनियों और इंडस्ट्री का हब होने के कारण आबादी तेजी से बढ़ रही है। लगभग 25 लाख की आबादी वाले शहर में सार्वजनिक परिवहन की कमी होने के कारण सड़कों पर कैब और निजी वाहनों का भार बढ़ता है।
जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: साइबर सिटी में आइटी कंपनियों और इंडस्ट्री का हब होने के कारण आबादी तेजी से बढ़ रही है। लगभग 25 लाख की आबादी वाले शहर में सार्वजनिक परिवहन की कमी होने के कारण सड़कों पर कैब और निजी वाहनों का भार बढ़ता है। इससे ट्रैफिक जाम के साथ ही प्रदूषण में भी इजाफा हो रहा है। पिछले वर्षो की तुलना करें तो सार्वजनिक परिवहन में बढ़ोतरी हुई है। नगर निगम, गुरुग्राम मेट्रोपालिटन सिटी बस लिमिटेड (जीएमसीबीएल) सार्वजनिक परिवहन को बढ़ावा देकर सफर को आसान बनाने का प्रयास कर रहे हैं। 200 सिटी बसें और 600 ई-रिक्शा का हो रहा संचालन : जीएमसीबीएल की ओर से 200 सिटी बसों का संचालन शहर के विभिन्न रूटों पर हो रहा है। मानेसर, फरुखनगर और पटौदी क्षेत्र सहित दूर-दराज के ग्रामीण क्षेत्रों तक सिटी बसें जा रही हैं। इससे यात्रियों को काफी फायदा मिल रहा है। जीएमसीबीएल के अधिकारियों के मुताबिक जरूरत के मुताबिक नियमित रूप से नए रूटों पर सिटी बस सेवा शुरू की जा रही है। उधर, नगर निगम की ओर से भी निजी कंपनियों के सहयोग से 600 इलेक्ट्रिक रिक्शा शुरू किए गए हैं, ताकि लोगों को शहर में सफर करने के दौरान परेशानी न हो। इलेक्ट्रिक रिक्शा चलने से प्रदूषण में भी कमी आएगी। कुल दो हजार ई-रिक्शा रूटों पर उतारे जाएंगे।
फिलहाल यह है परेशानी : देर शाम या रात में शहर के किसी इलाके में सफर करना है तो निजी वाहनों के भरोसे ही रहना पड़ता है। सभी नए सेक्टरों में सार्वजनिक परिवहन की कमी है। शहर का दायरा बढ़ गया है और परिवहन के साधन भी बढ़ाने होंगे। सिटी बसों की सभी सेक्टरों से कनेक्टिविटी करनी होगी। नए रूट बनाने होंगे।
वर्जन
छह सौ ई-रिक्शा की शुरुआत की जा चुकी है। इसके लिए नए रूट भी बनाए जाएंगे, जिसकी तैयारी चल रही है।
-संजीव सिंगला, संयुक्त आयुक्त नगर निगम गुरुग्राम