वन क्षेत्र में अवैध निर्माण किए जाएंगे ध्वस्त

वन क्षेत्र में हुए अवैध निर्माणों की पहचान के लिए जिले में ड्रोन सर्वे कराया जाएगा। इसके बाद ऐसे निर्माण कराने वालों को पहले नोटिस दिए जाएंगे। इसके बाद ऐसे निर्माणों पर कार्रवाई करते हुए उसे ध्वस्त कर दिया जाएगा।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 03 Aug 2021 07:36 PM (IST) Updated:Tue, 03 Aug 2021 08:12 PM (IST)
वन क्षेत्र में अवैध निर्माण किए जाएंगे ध्वस्त
वन क्षेत्र में अवैध निर्माण किए जाएंगे ध्वस्त

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: वन क्षेत्र में हुए अवैध निर्माणों की पहचान के लिए जिले में ड्रोन सर्वे कराया जाएगा। इसके बाद ऐसे निर्माण कराने वालों को पहले नोटिस दिए जाएंगे। इसके बाद ऐसे निर्माणों पर कार्रवाई करते हुए उसे ध्वस्त कर दिया जाएगा। यह निर्णय मंगलवार को उपायुक्त डा. यश गर्ग की अध्यक्षता में उनके कार्यालय में अधिकारियों की बैठक में लिया गया। इस मौके पर मुख्य वन संरक्षक वास्वी त्यागी भी मौजूद रहीं।

वन क्षेत्र में अवैध निर्माणों को हटाने को लेकर बैठक में विस्तार से चर्चा हुई। इस दौरान निर्णय लिया गया कि पहले सभी निर्माणों की पहचान करने के लिए बेस लाइन सर्वे किया जाएगा। सर्वे का यह कार्य एक सप्ताह के भीतर शुरू करने के आदेश दिए गए हैं। डा. गर्ग ने कहा कि इस बेस लाइन सर्वे में वन क्षेत्र में बनी सभी प्रकार की संपत्तियों को उनके क्षेत्रफल के साथ चिन्हित किया जाएगा। इसमें नगर निगम गुरुग्राम, नगर निगम मानेसर व जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में पड़ने वाले वन क्षेत्र की सभी संपत्तियों की मैपिग की जाएगी।

मुख्य वन संरक्षक वास्वी त्यागी ने बताया कि फरीदाबाद जिले के खोरी गांव में वन क्षेत्र से अतिक्रमण हटाने के लिए दिए गए आदेश में उच्चतम न्यायालय ने वन क्षेत्र को सभी प्रकार के अवैध निर्माणों से मुक्त करने के आदेश दिए हैं। उन्हीं आदेशों के पालन में गुरुग्राम जिले में भी वन क्षेत्र से अवैध निर्माण हटाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि इस दिशा में वन विभाग ने गुरुग्राम जिले में जिओ रेफरेंस मैप तैयार किए हैं, जो जिला प्रशासन की सर्वे करने वाली टीमों के साथ साझा किए जाएंगे।

वास्वी ने बताया कि पंजाब भूमि संरक्षण अधिनियम (पीएलपीए) के तहत गुरुग्राम जिले में 33 रेवेन्यु एस्टेट की लगभग 6800 हेक्टेयर भूमि आती है। इनका सर्वे कराया जाएगा। बैठक में डीटीपी एन्फोर्समेंट आरएस भाट, जिला विकास एवं पंचायत अधिकारी नरेंद्र सारवान, नगर निगम के संयुक्त आयुक्त हरिओम अत्री, सोहना के तहसीलदार सुशील शर्मा सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।

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