साइंस सिटी को लेकर केंद्र की टीम ने किया दौरा

जिले में साइंस सिटी विकसित करने को लेकर बुधवार को केंद्र सरकार की टीम ने चार अलग-अलग क्षेत्रों का दौरा किया। इस टीम में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग संस्कृति मंत्रालय व स्पेस एप्लीकेशन सेंटर के पदाधिकारी शामिल रहे।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 02 Dec 2020 08:39 PM (IST) Updated:Wed, 02 Dec 2020 08:39 PM (IST)
साइंस सिटी को लेकर केंद्र की टीम ने किया दौरा
साइंस सिटी को लेकर केंद्र की टीम ने किया दौरा

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: जिले में साइंस सिटी विकसित करने को लेकर बुधवार को केंद्र सरकार की टीम ने चार अलग-अलग क्षेत्रों का दौरा किया। इस टीम में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग, संस्कृति मंत्रालय व स्पेस एप्लीकेशन सेंटर के पदाधिकारी शामिल रहे। प्रदेश के बच्चों व अन्य युवाओं को विज्ञान के बारे में किताबों के साथ-साथ व्यावहारिक जानकारी देने के उद्देश्य से साइंस सिटी को विकसित करने की योजना बनाई गई है, जिससे कि वे विज्ञान संबंधी तथ्यों को बारीकी से समझ सकें।

टीम ने घामडौज, निमोठ, रहाका व पातली का दौरा किया। इस दौरान उनके साथ सोहना की एसडीएम चिनार चहल भी रहीं। टीम के संयोजक ने बताया कि प्रस्तावित साइंस सिटी लगभग 25 से 30 एकड़ भूमि में विकसित की जाएगी। जगह की पहचान होने के बाद इसकी डीपीआर तैयार की जाएगी। शुरुआती चरण में इस परियोजना पर लगभग 500 करोड़ रुपये की राशि खर्च की जाएगी। 50 प्रतिशत राशि केंद्र सरकार व इतना ही राज्य सरकार द्वारा वहन की जाएगी। उन्होंने बताया कि देश भर में अब तक तीन साइंस सिटी बनी हैं, जो कोलकाता, जालंधर व अहमदाबाद में हैं।

साइंस सिटी में खेल-खेल में विज्ञान व गणित की शिक्षाएं बच्चों एवं युवाओं को दी जाएंगी। टीम में शामिल सदस्यों ने कहा कि गुरुग्राम में एक बड़ा साइंस म्यूजियम बनाया जाएगा। जिसमें साइंस गैलरी, थीम बेस्ड गैलरी, विज्ञान के अलग-अलग वैज्ञानिक सिद्धांतों, डिजिटल प्रणाली, गणित संबंधी विषयों सहित अन्य महत्वपूर्ण जानकारी दी जाएगी। इसमें किसी भी विषय को समझने संबंधी व्यावहारिक ज्ञान देने पर बल दिया जाएगा।

कक्षाओं में दिया जाने वाला ज्ञान केवल किताबी होता है, जबकि साइंस सिटी में इससे हटकर ज्ञान दिया जाएगा। टीम के संयोजक ने कहा कि यहां इंडियन रिसर्च स्पेस आर्गनाइजेशन (इसरो) की वैज्ञानिक सुविधाओं को भी विकसित किए जाने की योजना है। साइंस सिटी के बनने से सिर्फ गुरुग्राम ही नहीं आसपास के क्षेत्रों को भी इसका लाभ मिलेगा। टीम में नेशनल साइंस सेंटर दिल्ली के निदेशक डा. डी. रामा सरमा सहित अन्य लोग मौजूद रहे।

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