8 करोड़ रुपये लागत से बिछा दी पाइपलाइन, फिर भी जलभराव का नहीं हुआ समाधान
शहर में सबसे अधिक जलभराव वाल्मीकि चौक व तुलसी चौक पर बिछाई गई पाइन लाइन किसी काम के नहीं है।
जागरण संवाददाता, फतेहाबाद : शहर में सबसे अधिक जलभराव वाल्मीकि चौक व तुलसी चौक पर होता है। यहां से पानी निकासी के लिए जिला प्रशासन ने करीब 8 करोड़ रुपये खर्च किए। इसके लिए 5 करोड़ रुपये लंबी पाइप लाइन बिछाई गई। लेकिन रुपये खर्च हो गए और पाइप भी बिछ गई। लेकिन पानी ठहरने की समस्या अब भी बरकरार है। शुक्रवार को हुई बारिश से इस क्षेत्र में तीन फीट से अधिक पानी भर गया। इससे आमजन को बड़ी परेशानी हुई।
दरअसल, प्रशासन ने शहर में पानी निकासी के लिए फतेहाबाद के तुलसी चौक से लेकर अयाल्की से पास से गुजरने वाले रंगाई नाले तक पाइपलाइन बिछाई। इस पर 8 करोड़ रुपये खर्च किए गए। महज 5 किलोमीटर पाइपलाइन बिछाने में अधिकारियों ने पानी की तरह रुपया बहाया। लोगों को उम्मीद थी कि बारिश का पानी आसानी से पाइपलाइन से होते हुए रंगाई नाले तक पहुंच जाएगा। लेकिन पहली ही बारिश में अधिकारियों की गड़बड़ी उजागर हो गई। बिछाई गई पाइपलाइन अधिक कारगर साबित नहीं हुई। तुलसी चौक व वाल्मीकि चौक के पास 20 घंटे अधिक तक पानी ठहरा रहा।
शहर की मुख्य मार्केट होती है प्रभावित
पानी निकासी उचित न होने से शहर की बाजार भी प्रभावित होता है। तुलसी चौक शहर के मुख्य बाजार धर्मशाला रोड व थाना रोड को रतिया चुंगी से जोड़ता है। ऐसे में चौक पर पानी ठहरने से पूरा बाजार में आवागमन प्रभावित होता है। इतना ही नहीं शहर के करीब चार वार्ड के लोग इसी सड़क के शहर से जुड़ते है। उनको भी परेशानी होती। परेशानी को दूर करने के लिए 8 करोड़ रुपये की पाइपलाइन बिछाई गई। लेकिन कारगर साबित नहीं हुई।
बूस्टिग स्टेशन नहीं बना पाए अधिकारी
करोड़ों रुपये खर्च करके अधिकारियों ने पाइपलाइन बिछा दी। लेकिन पानी निकासी के लिए बूस्टिग स्टेशन नहीं बना पाए। न ही अब इसके लिए वे प्रयास कर रहे है। लोगों का आरोप है कि अधिकारी अब गंभीरता से उनकी समस्या को नहीं ले रहे। पानी निकासी की व्यवस्था पर जब रुपये खर्च हो गए तो अब आगे परेशानी नहीं आने देनी चाहिए। करीब 5 लाख रुपये में तैयार होने वाले बूस्टिग स्टेशन का निर्माण पांच महीने से लंबित पड़ा है। अब आने वाले दिनों में फिर से बारिश होती है तो परेशानी बढ़ेगी।
अब पानी को निकाल दिया, नहीं आने दी परेशानी
शहर में कहीं भी जलभराव से परेशानी नहीं आने दी। बारिश होने के कुछ घंटों बाद पानी की निकासी हो गई। मैं पानी निकासी की खुद निगरानी कर रहा था। फिर भी कहीं पर परेशानी थी तो इसकी आमजन शिकायत दे। आगे से ओर बेहतर कार्य करेंगे।
- गौरव कांसल, कार्यकारी अभियंता, जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग।