फरीदाबाद में संपत्ति कर सर्वे में बड़ी खामियां, निजी एजेंसी की लापरवाही सामने आई

नगर निगम इस समय वर्ष भर में संपत्ति कर के रूप में शहरवासियों से 50 करोड़ रुपये से अधिक की वसूली कर रहा है। अब सर्वे रिपोर्ट के अनुसार निगम क्षेत्र में मकानों के साथ-साथ औद्योगिक इकाइयाें की संख्या बढ़ी हैं।

By Mangal YadavEdited By: Publish:Sun, 21 Mar 2021 01:03 PM (IST) Updated:Sun, 21 Mar 2021 01:03 PM (IST)
फरीदाबाद में संपत्ति कर सर्वे में बड़ी खामियां, निजी एजेंसी की लापरवाही सामने आई
फरीदाबाद नगर निगम मुख्यालय की फाइल फोटो

फरीदाबाद (अनिल बेताब)। संपत्ति कर सर्वे के मामले में बड़ी खामियां सामने आ रही हैं। सर्वे रिपोर्ट में किसी संपत्ति का पूरा ब्योरा दर्ज नहीं है, तो किसी के मालिक का नाम सही नहीं है। संपत्ति मालिक का पूरा ब्योरा सर्वे रिपोर्ट में नहीं है। नगर निगम ने जब इस सर्वे रिपोर्ट का मिलान करने का काम शुरू किया, तो यह बातें सामने आईं हैं। अब नगर निगम काे इस रिपोर्ट के आधार पर नए सिरे से मशक्कत करनी पड़ेगी, इसके बाद ही नगर निगम संपत्ति मालिक को नोटिस भेज कर संपति कर वसूल कर पाएगा।

पिछले दिनों निजी एजेंसी ने सर्वे रिपोर्ट तैयार कर निगम को दी थी, तो उस समय करीब 5.5 लाख यूनिटों के नाम आए थे। इनमें मकान, औद्योगिक इकाइयों और वाणिज्यिक संस्थान हैं। नगर निगम के रिकार्ड में पहले से 2.62 लाख इकाइयां हैं, जो संपत्ति कर के दायरे में आती हैं। 

नगर निगम इस समय वर्ष भर में संपत्ति कर के रूप में शहरवासियों से 50 करोड़ रुपये से अधिक की वसूली कर रहा है। अब सर्वे रिपोर्ट के अनुसार निगम क्षेत्र में मकानों के साथ-साथ औद्योगिक इकाइयाें की संख्या बढ़ी हैं। ऐसे में नगर निगम शहरवासियों से कुल मिला कर 150 कराेड़ रुपये से अधिक संपत्ति कर वसूल कर पाएगा। 

निगम को उम्मीद थी कि अब बाकी 2.88 लाख नई यूनिटों के नाम जुड़ने से नगर निगम का खजाना भरेगा़, मगर फिलहाल सर्वे रिपोर्ट में रिकार्ड सही न होने के चलते फिलहाल नगर निगम का नई यूनिटों से संपत्ति कर वसूली करने का काम जल्दी से चालू नहीं हो पाएगा। 

इस बारे में नगर निगम मुख्यालय के कर अधिकारी विनोद गुलाटी ने बताया कि अभी तो सर्वे रिपोर्ट वाले डाटा का निगम के खाते में दर्ज रिकार्ड से मिलान किया जा रहा है। हमें नई यूनिटों के रिकार्ड के अनुसार सपंत्ति कर वसूलना है। सारे रिकार्ड की जांच करने में थोड़ा समय लगेगा। उम्मीद है कि नए वित्त वर्ष के शुरुआती दिनों में हम नई यूनिटों को संपत्ति कर वसूली के लिए नोटिस भेजना शुरू कर देंगे। 

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