एक मार्च से शुरू होगी प्री बोर्ड परीक्षा

9वीं से 12वीं तक की कक्षाएं लगने के बाद अब बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी शुरू करा दी गई है।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 16 Feb 2021 05:00 PM (IST) Updated:Tue, 16 Feb 2021 05:00 PM (IST)
एक मार्च से शुरू होगी प्री बोर्ड परीक्षा
एक मार्च से शुरू होगी प्री बोर्ड परीक्षा

जागरण संवाददाता, फरीदाबाद : 9वीं से 12वीं तक की कक्षाएं लगने के बाद अब बोर्ड परीक्षाओं में राजकीय विद्यालयों के परिणाम को बेहतर बनाने पर कार्य शुरू हो गया है। इसलिए दो बार प्री बोर्ड परीक्षाएं कराने का फैसला लिया गया है। पहली प्री बोर्ड परीक्षा एक मार्च को कराई जाएगी। इसे लेकर सभी विद्यालय प्रमुखों को सूचना दे दी गई है। इसके अलावा निर्देश दिए गए हैं कि जल्द से जल्द पाठ्यक्रम को पूरा करवाकर 28 फरवरी तक रिवीजन कराया जाए।

उल्लेखनीय है कि इस बार बोर्ड परीक्षाओं के परिणाम को 90 फीसद ले जाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। पहली प्री बोर्ड 1 मार्च को शुरू होगी और उसका परिणाम 10 मार्च तक जारी किया गया। जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी ने फरीदाबाद एवं बल्लभगढ़ खंड शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वह ऐसे स्कूलों को चिन्हित करें, जिनका परिणाम 40 फीसद से कम रहा है। उन्हें अतिरिक्त कक्षाएं लगाकर बोर्ड परीक्षाओं की बेहतर तैयारी कराई जाएगी। इसके अलावा अरविद अग्रवाल को जिला संयोजक, राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सेक्टर-21डी की अध्यापिका सीमा शर्मा फरीदाबाद खंड की, जबकि राजकीय आदर्श वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सेक्टर-55 के प्रधानाचार्य सतेंद्र सौरोत को बल्लभगढ़ खंड का संयोजक बनाया गया है अध्यापकों की छुट्टी की गई रद

जिला शिक्षा विभाग की ओर से जारी निर्देश के अनुसार बोर्ड परीक्षाओं तक सभी अध्यापकों की छुट्टियां रद कर दी गई हैं। यदि किसी को आवश्यक कार्य से छुट्टी लेनी पड़ती है, तो संबंधित अध्यापक वैकल्पिक व्यवस्था करके जाएगा, ताकि छात्रों के रिवीजन में किसी तरह कोई बाधा नहीं आए। चार ग्रुप बनाए जाएंगे

पहले ग्रुप में 76 व उससे अधिक अंक लाने वाले छात्र शामिल होंगे। दूसरे ग्रुप में 61 से 75 फीसद के छात्रों को, तीसरे ग्रुप में 41 से 60 फीसद अंक पाने वाले और चौथे में 40 फीसद अंक लाने वाले छात्र शामिल होंगे। इन्हें अंकों के आधार पर परीक्षा की तैयारी कराई जाएगी। पहली प्री बोर्ड परीक्षा एक मार्च से शुरू होगी। बोर्ड परीक्षाओं को बेहतर बनाने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। इसके लिए चार ग्रुप बनाए जाएंगे। सबसे कमजोर बच्चों पर अधिक ध्यान दिया जाएगा, ताकि उनके परिणाम को भी बेहतर बनाया जा सके।

-रितु चौधरी, जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी

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