सबसे पुराने शिक्षा के मंदिर के हालातों में बदलाव के लिए आखिरकार गंभीर हुआ प्रशासन व शिक्षा विभाग

जागरण संवाददाता चरखी दादरी शहर के सबसे पुराने आजादी से पूर्व स्थापित स्थानीय राजकीय माड

By JagranEdited By: Publish:Sat, 25 Sep 2021 06:11 AM (IST) Updated:Sat, 25 Sep 2021 06:11 AM (IST)
सबसे पुराने शिक्षा के मंदिर के हालातों में बदलाव के लिए आखिरकार गंभीर हुआ प्रशासन व शिक्षा विभाग
सबसे पुराने शिक्षा के मंदिर के हालातों में बदलाव के लिए आखिरकार गंभीर हुआ प्रशासन व शिक्षा विभाग

जागरण संवाददाता, चरखी दादरी : शहर के सबसे पुराने, आजादी से पूर्व स्थापित स्थानीय राजकीय माडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय परिसर में पिछले एक माह से दो से लेकर पांच फीट तक पानी भरने, इसके चलते शैक्षणिक कार्य प्रभावित होने, संक्रामक बीमारियां फैलने की आशंकाएं बनने, कर्मचारियों, शिक्षकों की समस्याओं को लेकर बने हुए हालातों के बीच जिला प्रशासन, शिक्षा विभाग ने बड़े कदम उठाए हैं। जिला प्रशासन ने कक्षा छठी से बारहवीं तक की कक्षाएं विद्यालय के सामने बने मातृ शिशु अस्पताल नये अस्पताल भवन में लगाने का आदेश जारी किया है। वहीं शिक्षा विभाग ने पानी की निकासी, स्कूल में भरत करवाने, टाइलें लगवाने इत्यादि के लिए 85 लाख के करीब रुपये की राशि का बजट मंजूरी के लिए सरकार को भेजा है। उल्लेखनीय है कि वैसे तो काफी समय से इस विद्यालय परिसर में नमी आने, आसपास का पानी भरने से स्थिति काफी गंभीर बनी रही है लेकिन इस माह एक सितंबर की बारिश के बाद यहां पूरा परिसर गंदे पानी के तालाब में तबदील हो गया था। उसके बाद से लेकर आज तक हालात यथावत बने हुए हैं। हालांकि जनस्वास्थ्य विभाग ने यहां पानी की निकासी के लिए दो स्थानों पर मोटरें व पाइप भी लगा हैं। लेकिन पिछले तीन दिनों की वर्षा के दौरान स्थिति पुन: पहले जैसे दिखाई देने लगी है। पूरे स्कूल परिसर के गंदे पानी के तालाब में बदलने से यहां संक्रामक बीमारियों के फैलाव की आशंका भी बढ़ती जा रही थी। इसी प्रकार यहां शिक्षकों के लिए शैक्षणिक कार्य करना मुश्किल होता जा रहा था। नये अस्पताल भवन में लगेंगी कक्षाएं

नगर के राजकीय माडल संस्कृति वमावि में लगातार जलजमाव के चलते बीमारियां फैलने की आशंकाओं के चलते तथा शैक्षणिक कार्य सुचारु रूप से न होने के कारण दादरी के उपायुक्त प्रदीप गोदारा ने अस्थाई तौर पर विद्यालय के सामने बने मातृ शिशु अस्पताल के नये भवन के प्रथम व द्वितीय तल को अधिग्रहण करने के आदेश दिए हैं। उन्होंने जिला शिक्षा अधिकारी को आदेश दिए हैं कि वे इस भवन में किसी भी खर्च का भुगतान करेंगे तथा कोविड नियमों की पालना करते हुए यहां कक्षाएं शुरू करवाएंगे। शनिवार से ही इस नये भवन में कक्षा छठी से लेकर बारहवीं तक की कक्षाओं के लिए पढ़ाई का कार्य शुरू होगा। इस भवन में बड़ी संख्या में नये कमरों का निर्माण किया गया है तथा यहां बिजली, पानी, सिलिग फैन इत्यादि की पर्याप्त व्यवस्था है। यह भवन मौजूदा स्कूल के बिल्कुल सामने लगता है। इसलिए छात्रों को यहां आने जाने में किसी भी प्रकार की असुविधा भी नहीं होगी। शिक्षा विभाग ने बनाया बजट

स्थानीय राजकीय माडल संस्कृति वमावि परिसर में लंबे समय से जलजमाव की समस्या के स्थाई समाधान के लिए शिक्षा विभाग के स्थानीय अधिकारियों ने विभाग के आदेशानुसार यहां पानी की निकासी की स्थाई व्यवस्था करने जैसे पंप, मोटर, पाइप लाइन इत्यादि लगाने, स्कूल परिसर में पांच से लेकर दो फुट तक भरत करवाने, कई स्थानों पर टाइलिग करवाने, फुटपाथ इत्यादि बनवाने इत्यादि के लिए 85 लाख रुपये का एस्टीमेट मंजूरी के लिए भेजा है। इसकी मंजूरी मिलने के बाद यहां जलजमाव की समस्या का समाधान हो सकेगा। सुचारु होगा शैक्षणिक कार्य: डीईओ

दादरी के जिला शिक्षा अधिकारी जयप्रकाश सभ्रवाल ने बताया कि नये भवन में शनिवार से ही कक्षाएं लगने का कार्य शुरू हो जाएगा वहीं उम्मीद है कि स्कूल परिसर से जल्द ही पानी की निकासी होगी। भविष्य में यहां पानी जमा न हो इसके लिए विभाग ने करीब 85 लाख रुपये का बजट कई योजनाओं के लिए भेजा है। किसी भी सूरत में छात्रों को पढ़ाई का नुकसान नहीं होने दिया जाएगा तथा शैक्षणिक कार्य सुचारु रूप से जारी रखने के पूरे प्रयास किए जाएंगे। दैनिक जागरण ने उठाया था मुद्दा

उल्लेखनीय है कि दादरी नगर के राजकीय माडल संस्कृति वमावि परिसर के कई दिनों तक गंदे पानी के तालाब के रूप में तबदील होने का मामला दैनिक जागरण ने दो सप्ताह पहले प्रमुखता से उठाया था। इसके बाद यहां राजनैतिक, सामाजिक संगठनों के लोगों ने दौरा कर सरकार, प्रशासन व शिक्षा विभाग से पानी की निकासी करने, शैक्षणिक कार्य सुचारु रूप से चलाने की मांग की थी।

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