मतदान केंद्रों में व्हील चेयर का टोटा, रेहड़ी पर वोट डालने पहुंचे बुजुर्ग
विधान सभा चुनावों में बेशक प्रशासन दिव्यांगों और बुजुर्गाें की सुविधा के तमाम दावे कर रहा था। लेकिन दिव्यांगों और बुजुर्गों को परेशानी ही उठानी पड़ी। ग्रामीण क्षेत्र में कहीं पर भी व्हील चेयर की व्यवस्था नहीं थी। इससे शहरी क्षेत्र भी नहीं बच गया। कई बुथ होने पर मात्र एक व्हील चेयर नजर आयी।
जागरण संवाददाता, अंबाला शहर
विधान सभा चुनावों में बेशक प्रशासन दिव्यांगों और बुजुर्गाें की सुविधा के तमाम दावे कर रहा था। लेकिन दिव्यांगों और बुजुर्गों को परेशानी ही उठानी पड़ी। ग्रामीण क्षेत्र में कहीं पर भी व्हील चेयर की व्यवस्था नहीं थी। इससे शहरी क्षेत्र भी नहीं बच गया। कई बुथ होने पर मात्र एक व्हील चेयर नजर आयी।
शहर विधानसभा के गांव सुल्लर, बलाना, भडी, अहमा, चौडमस्तपुर, मटेडी शेखां में किसी भी बुथ पर व्हीलचेयर नहीं थी। नौबत यहां तक आ गई थी बुजुर्गाों को तीन पहिया रेहड़ी पर बिठाकर लाना पड़ा। गांव सुल्लर के बुथ नंबर 183 पर पहुंची 90 वर्षीय लक्ष्मी देवी ने बताया कि उसका मतदान केंद्र तक पहुंचना मुश्किल रहता है। क्योंकि ऐसी कोई सुविधा से जिससे आसानी से पहुंचा जा सके। इसके बाद उसे तीन पहिया रेहड़ी में लाया गया, जिसे हरा चारा ढोने में इस्तेमाल कया जाता है। ऐसा ही कुछ हाल शहर के बुथों पर भी देखने को मिला। शहर के जगाधरी गेट पर नगर निगम तक में चार बुथ बनाये हुए थे। लेकिन इन सभी बुथों के लिए महज एक व्हील चेयर ही रखी गई थी। इसी कारण बुजुर्गाें को सबसे ज्यादा दिक्कतें सहनी पड़ी