कूड़े से बनानी होगी खाद वरना नहीं होगा उठान

अंबाला छावनी को स्वछता मिशन के तहत स्वछ और सुंदर बनाया जाना है। इसके लिए नगर परिषद की ओर से पहल शुरू कर दी गई है। अंबाला छावनी में करीब 37 हजार घर हैं। अब इन सभी घरों का कूड़ा नगर परिषद नहीं उठाएगा।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 21 Sep 2020 05:55 AM (IST) Updated:Mon, 21 Sep 2020 05:55 AM (IST)
कूड़े से बनानी होगी खाद वरना नहीं होगा उठान
कूड़े से बनानी होगी खाद वरना नहीं होगा उठान

संजू कुमार, अंबाला

अंबाला छावनी को स्वच्छता मिशन के तहत स्वच्छ और सुंदर बनाया जाना है। इसके लिए नगर परिषद की ओर से पहल शुरू कर दी गई है। अंबाला छावनी में करीब 37 हजार घर हैं। अब इन सभी घरों का कूड़ा नगर परिषद नहीं उठाएगा। बल्कि लोगों को खुद ही घर पर कूड़े से खाद बनानी होगी। छत या घर के आंगन में खाद के लिए जगह बनानी जरूरी है। अगर लोगों ने ऐसा नहीं किया तो घर से कूड़ा नहीं उठेगा। साथ ही प्लास्टिक और कांच को अलग कर बेचना होगा। इसके लिए नगर परिषद की टीम इसी माह से पहल शुरू करने जा रही है। घर-घर जाकर लोगों को जागरूक किया जाएगा। बाद में ऐसी कालोनी और मुहल्ले छांटे जाएंगे, जो खाद बना रहे हैं। उन स्थानों पर नो वेस्ट का बोर्ड लगाया जाएगा।

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अभी से डालनी होगी आदत

घरेलू कूड़े को अब बाहर नहीं डालना होगा। अपने घर में ही खाद बनाने की अभी से ही आदत डालनी होगी। ताकि आप घर के अंदर ही खाद तैयार कर सकें। इस खाद को आप अपने आंगन में लगे पौधे और खेतों में इस्तेमाल कर सकते हैं। ऐसे में पर्यावरण भी हरा-भरा रहेगा।

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ऐसे बनती है खाद

किसी खाली स्थान के अलावा आप गमले-बाल्टी, ड्रम में भी खाद तैयार कर सकते हैं। बस इनमें छेद करना है। ताकि ऑक्सीजन जा सके। पहली लेयर में पेड़ों के पत्ते या मिट्टी डाल दो। फिर अखबार, कागज या गत्ते, सब्जियों के छिलके को डालना होगा। उसके बाद मिट्टी की लेयर और पानी डालना है। मिट्टी डालने से दुर्गंध और मक्खी, मच्छर नहीं आएंगे। इसके बाद दो या तीन महीने में खाद बनकर तैयार हो जाएगी। अगर खाद जल्दी बनानी है तो दही, चीनी, दूध डालनी होगा।

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फोटो : 6

अंबाला को स्वच्छ बनाना है। अब कूड़े से लोगों को घरों में ही खाद तैयार करनी होगी। इसके लिए पहले लोगों को जागरूक करेंगे। बाद में यह सभी घरों में लागू होगी। अगर लोगों ने खाद नहीं बनाई तो कूड़े का उठान नहीं होगा।

- रीतू शर्मा, स्वच्छता मिशन, कोआर्डिनेटर अंबाला छावनी

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