Jagannath Rath Yatra: गुजरात में जगन्नाथ रथयात्रा को मिल सकती है मंजूरी
Jagannath Rath Yatra गृह राज्यमंत्री प्रदीप सिंह जाडेजा की पुलिस विभाग के आला अधिकारियों के साथ हुई बैठक में जनता कर्फ्यू के साथ सीमित रथों को रथयात्रा की मंजूरी देने पर सहमति बनी है। भगवान जगन्नाथ सुभद्रा व बलभद्र के रथों को खींचने के लिए 150 खलासियों को चुना जाएगा।
अहमदाबाद, जागरण संवाददाता। भगवान जगन्नाथ की 144वीं रथयात्रा को कोरोना महामारी के बीच कुछ प्रतिबंधों के साथ मंजूरी मिलने की उम्मीद है। सरकार व पुलिस प्रशासन की समीक्षा बैठक के बाद दोपहर तक अखाड़ों व भजन मंडली व झांकियों के बिना रथयात्रा को मंजूरी की संभावना है। रथयात्रा के दौरान जनता कर्फ्यू रहेगा, ताकि दर्शनार्थियों को रोका जा सके। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह रथयात्रा से पहले मंगला आरती में शामिल होंगे। गृह राज्यमंत्री प्रदीप सिंह जाडेजा की पुलिस विभाग के आला अधिकारियों के साथ हुई बैठक में जनता कर्फ्यू के साथ सीमित रथों को रथयात्रा की मंजूरी देने पर सहमति बनी है। भगवान जगन्नाथ, सुभद्रा व बलभद्र के रथों को खींचने के लिए 150 खलासियों को चुना जाएगा, जिन्हें कोरोना वैक्सीन की दोनों डोज लग चुकी है।
अखाड़े, हाथी, झांकियां व भजन मंडलियां को इस बार रथयात्रा में शामिल नहीं किया जाएगा। जगन्नाथ मंदिर के महंत दिलीप दास महाराज ने बताया कि अहमदाबाद पुलिस आयुक्त संजय श्रीवास्तव को रथयात्रा की मंजूरी की अर्जी दी है। मंदिर में रथयात्राकी तैयारियां की जा रही हैं। कोरोना महामारी के प्रोटोकोल का पालन करते हुए यात्रा निकालने के लिए हम तैयारी कर रहे हैं। दोपहर 12 बजे तक रथयात्रा संपन्न होगी, महिला भक्तों को भी इसमें शामिल नहीं किया जाएगा तथा सरसपुर ननिहाल में भी रथयात्रा कुछ देर ही रुकेगी। पहले यहां भंडारा का आयोजन होता था।
12 जुलाई को मुख्यमंत्री विजय रूपाणी रथों के आगे सोने की झाडू से बुहारी लगाकर पहिंद विधि कर रथयात्रा का प्रस्थान कराएंगे। इससे पहले केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह भगवान जगन्नाथ मंदिर की मंगला आरती में शामिल होंगे। अमित शाह हर वर्ष सपरिवार मंगला आरती में शामिल होते हैं। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सीआर पाटिल को 10 जुलाई को भगवान के वस्त्रदान समारोह का न्योता भेजा गया है। रथयात्रा की पूर्व संध्या पर कांग्रेस नेता संध्या आरती में शामिल होंगे। गत 24 जुलाई को मंदिर से साबरमती नदी तक जलयात्रा भी कोविड प्रोटोकोल के अनुसार 50 लोगों की सीमित संख्या में संपन्न हुई थी।