Gujarat Flood: मुख्यमंत्री बनते ही भूपेंद्र पटेल ने गुजरात में बाढ़ के हालात पर की चर्चा, दिए निर्देश
Gujarat Flood गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने सोमवार को राजकोट व जामनगर के बाढ़ के हालात की समीक्षा की तथा वहां के कलक्टर व महानगर पालिका आयुक्त से राहत व बचाव कार्य की जानकारी ली और निर्देश दिए।
अहमदाबाद, जागरण संवाददाता। गुजरात में सोमवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने के साथ ही भूपेंद्र पटेल ने सौराष्ट्र के राजकोट व जामनगर में भारी बारिश के चलते बने बाढ़ के हालात, राहत व बचाव कार्य की समीक्षा के लिए उच्च स्तरीय बैठक की। मुख्यमंत्री ने राजकोट व जामनगर के लिए भटिंडा से एनडीआरएफ की पांच टीम बुलाने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल का सचिवालय में पहला दिन था। रविवार रात सौराष्ट्र में दस घंटे तक जोरदार बारिश हुई, जिससे कई इलाकों में पानी भर गया। जामनगर के जिला पंचायत भवन में दो-दो फीट पानी भर गया। मुख्यमंत्री ने राजकोट व जामनगर के बाढ़ के हालात की समीक्षा की तथा वहां के कलक्टर व महानगर पालिका आयुक्त से राहत व बचाव कार्य की जानकारी ली। मुख्यमंत्री के साथ बैठक में मुख्यमंत्री कार्यालय के मुख्य प्रधान सचिव के कैलाशनाथन, मुख्य सचिव पंकज कुमार, अतिरिक्त मुख्य सचिव एके राकेश, मुख्यमंत्री कार्यालय के अतिरिक्त मुख्य सचिव एमके दास, राहत आयुक्त आद्रा अग्रवाल तथा मुख्यमंत्री के ओएसडी डीएच शाह भी मौजूद रहे।
बताया जा रहा है कि अब तक करीब 12 सौ लोगों को आजी डेम-दो के के पास से हटाकर सुरक्षित स्थलों पर भेजा गया है। मुख्यमंत्री ने जामनगर व राजकोट के लिए भटिंडा से एनडीआरएफ की पांच टीम बुलाने के निर्देश दिए हैं। मानसून के आखिरी दौर में गुजरात के 161 तहसीलों में जोरदार बारिश हो रही है। बीते दो-तीन दिनों से मानसून सक्रिय है। राजकोट, जूनागढ़ व जामनगर में रविवार रात से भारी बारिश हुई। राजकोट के लोधिका में 21 इंच, जूनागढ़ के विसावदर में 15 इंच, जामनगर के कालावाड में 15 इंच, पडधरी, गोंडल में सात-सात इंच बारिश दर्ज की गई। सौराष्ट्र के एक दर्जन से अधिक बांध ओवरफ्लो हो गए हैं। इनमें आजीदो बांध, फुलझर-दो, ऊंड बांध-एक व दो, बालभडी, आजीचार, वोडीजंग, रणजीत सागर, उमिया सागर, वागडिया बांध शामिल हैं। गौरतलब है कि इससे पहले भी इसी मानसून में गुजरात में बारिश और बाढ़ से काफी नुकसान हो चुका है।