Coronavirus: गुजरात में कोरोना के 7410 नए मामले और 73 मौतें, श्मशानों में वेटिंग; सूरत में कब्रों की एडवांस खुदाई
Coronavirus गुजरात में कोरोना वायरस संक्रमण के 7410 नए मामले सामने आए। 2642 लोग डिस्चार्ज हुए और 73 लोगों की मौत हुई है। प्रदेश में कुल मामले 367616 हैं। कुल 323371 डिस्चार्ज हुए। सक्रिय मामले 34555 हैं। कोरोना से अब तक 4922 की मौत हुई है।
अहमदाबाद, जागरण संवाददाता। Coronavirus: गुजरात में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस संक्रमण के 7410 नए मामले सामने आए। 2642 लोग डिस्चार्ज हुए और 73 लोगों की मौत हुई है। प्रदेश में कुल मामले 3,67,616 हैं। कुल 3,23,371 डिस्चार्ज हुए। सक्रिय मामले 34,555 हैं। कोरोना से अब तक 4,922 की मौत हुई है। पिछले कुछ समय से प्रदेश के कई जिलों में कोरोना के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं। गुजरात उच्च न्यायालय ने दो दिन पहले ही कोरोना के प्रबंधन को लेकर राज्य सरकार को खरी खोटी सुनाई थी, सरकार बेड की संख्या, ऑक्सीजन, रेमडेसीवर इंजेक्शन आदि की पर्याप्त व्यवस्थाएं कर रही हैं, लेकिन सूरत व अहमदाबाद में मौत का आंकड़ा लगातार बढ़ रहा है।
श्मशानों में वेटिंग, सूरत में कब्रों की एडवांस खुदाई
अहमदाबाद व सूरत शहर में कोरोना फिर कहर बनकर टूटा है। संक्रमण के केसों ने अब तक के सभी रिकार्ड तोड़ दिए हैं। आलम यह है कि श्मशानों में जहां 10 से 12 घंटे की वेटिंग है, वहीं कब्रिस्तान में जेसीबी से खुदाई कराकर एडवांस में कब्रें तैयार की जा रही हैं। अहमदाबाद के सीएनजी संचालित शवदाह गृह में 10-12 घंटे की वेटिंग चल रही है। उधर, सुरेंद्रनगर जिले के लींबडी कस्बे में सात दिन का लॉकडाउन घोषित किया गया। व्यापार मंडल ने श्मशान ग्रह में लोगों से शवदाह के लिए लकड़ियां दान करने की भी अपील की है।
सूरत में कब्रों की एडवांस खुदाई
सूरत के रामपरा कब्रिस्तान के प्रबंधक मोहम्मद आसिफ बताते हैं कि पहले दो-तीन शव आते थे, लेकिन अब 10-12 रोज आते हैं। एक कब्र खोदने में छह-सात घंटे लगते हैं। मजदूरों की कमी के कारण अब जेसीबी से एडवांस में कब्रें खुदवा कर रख रहे हैं। बीते चौबीस घंटे में गुजरात में कोरोना के 6690 केस सामने आए, जबकि 67 लोगों की मौत हुई।
एंबुलेंस की कतारों से कार्यक्षमता नहीं आंकें
अहमदाबाद के सिविल अस्पताल में 40-50 एंबुलेंस की कतारें भय पैदा करने लगी हैं। इस पर अस्पताल अधीक्षक डॉ जेवी मोदी का कहना है कि मरीज को प्राथमिकता व एक प्रक्रिया के तहत ही भर्ती किया जा सकता है। इनमें ट्रायेज मरीज अधिक होते हैं, जिन्हें उच्च दाब से ऑक्सीजन की जरूरत होती है, इसलिए एंबुलेंस में उनको मिलती रहती है। एंबुलेंस की कतारों से सिविल की कार्यक्षमता को नहीं आंकना चाहिए।
जीवनरक्षक दवा की कालाबाजारी में चार गिरफ्तार
जीवनरक्षक टीका रेमडेसीवर की कालाबाजारी के आरोप में अपराध शाखा ने जस्टिन परेरा को 35 इंजेक्शन के साथ अहमदाबाद के एयरपोर्ट पर दबोच लिया। वहीं, कॉरपोरेशन संचालित एसवीपी अस्पताल के स्टाफ नर्स भाई बहन अक्षर वाजा, विधि वाजा तथा एंबुलेंस ड्राइवरसे नौ इंजेक्शन जब्त कर उनकी गिरफ़तारी की गई। 4500 का इंजेक्शन ये 12 हजार रुपये में बेचते थे। उदयपुर राजस्थान से भी कालाबाजारी कर यहां रेमडेसीवर इंजेक्शन लाने की खबर ंहै।
ड्राइव थ्रू आरटी पीसीआर
बुजुर्ग, विकलांग व बीमार लोगों की सुविधा के लिए सरकार ने पीपीपी मॉडल से ड्राइव थ्रू आरटी पीसीआर टेस्ट सुविधा शुरु की है। यहां कार में बैठे बैठे टेस्ट कराया जा सकेगा। अहमदाबाद के जीएमडीसी मैदान पर इस ड्राइव थ्रू आरटी पीसीआर टेस्ट के लिए पहले से पंजीकरण की कोई आवश्यकता नहीं है। बुजुर्ग, विकलांग व बीमार लोग कार में सवार होकर टेस्ट कराने वालों को जाना है तथा पांच कलेक्शन सेंटर में से एक पर कोड स्कैन करते ही टोकन जनरेट हो जाएगा। सरकार ने निजी आपकी मदद से यह टेस्ट ड्राइव शुरू किया है और इसकी कीमत 800 रुपये रखी है। 24 से 36 घंटे में इसकी रिपोर्ट एसएमएस, वॉट्सएप तथा ईमेल के ऊपर भेज दी जाएगी।