Web Series On Vikas Dubey: कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे एनकाउंटर पर वेब सीरीज़ लाएंगे हंसल मेहता

Web Series On Vikas Dubey तनु वेड्स मनु शाहिद अलीगढ़ ओमर्टा और जजमेंटल है क्या जैसी फिल्मों का निर्माण करने वाले निर्माता शैलेश आर सिंह ने अधिकार ख़रीदे हैं।

By Manoj VashisthEdited By: Publish:Mon, 10 Aug 2020 01:24 PM (IST) Updated:Mon, 10 Aug 2020 09:45 PM (IST)
Web Series On Vikas Dubey: कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे एनकाउंटर पर वेब सीरीज़ लाएंगे हंसल मेहता
Web Series On Vikas Dubey: कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे एनकाउंटर पर वेब सीरीज़ लाएंगे हंसल मेहता

नई दिल्ली, जेएनएन। डिजिटल प्लेटफॉर्म्स पर सेक्रेड गेम्स, मिर्ज़ापुर, रंगबाज़ जैसी वेब सीरीज़ ने जमकर धूम मचाई और दर्शकों ने इन्हें ख़ूब पसंद किया। अब उत्तर प्रदेश के कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे एनकाउंटर पर एक वेब सीरीज़ की तैयारी की जा रही है, जिसका निर्देशन शाहिद और ओमर्टा जैसी फ़िल्में निर्देशित करने वाले डायरेक्टर हंसल मेहता करेंगे।

पोलरॉइड मीडिया के सहयोग से निर्माता शैलेश आर सिंह की कर्म मीडिया एंड एंटरटेनमेंट ने इसके लिए राइट्स खरीदे हैं। तनु वेड्स मनु, शाहिद, अलीगढ़, ओमर्टा और जजमेंटल है क्या जैसी फिल्मों का निर्माण करने वाले निर्माता शैलेश आर सिंह ने विकास दुबे की कहानी के अधिकार हासिल किये हैं।

इस सीरीज़ की कहानी विकास दुबे से जुड़ी तमाम घटनाओं के आधार पर तैयार की जा रही है। शैलेश आर सिंह ने इसकी जानकारी देते हुए कहा- ''मैं पूरी कहानी को समाचार एजेंसियों और अन्य माध्यमों से काफी बारीकी से फॉलो कर रहा हूं। 8 पुलिसकर्मियों की हत्या ने राष्ट्र को हिलाकर रख दिया और विकास दुबे के 7 दिन के सफर की शुरुआत हुई, जिसको आखिरकार एक मुठभेड़ में मरते देखा। मैंने सोचा कि क्यों ना इस कहानी को पूरे देश को सुनाया जाए और कुछ वास्तविक तथ्यों को सामने लाया जाए और इस कहानी को बताने के लिए गहराई तक जाया जाए। मैं इस कहानी को बताने के लिए वास्तव में उत्सुक हूं।''

निर्देशक हंसल मेहता ने कहा, "यह एक महत्वपूर्ण कहानी है, हमारे समय और हमारी प्रणाली का प्रतिबिंब है, जहां राजनीति, अपराध और कानून बनाने वाले एक जिज्ञासु बन जाते हैं। मुझे इसमें से एक राजनीतिक थ्रिलर उभरता दिखाई दे रहा है, और इस कहानी बताना बहुत दिलचस्प होगा।''

फ़िल्मी है विकास दुबे एनकाउंटर की कहानी

बता दें कि 3 जुलाई की रात उत्तर प्रदेश पुलिस के डीएसपी देवेंद्र मिश्रा पुलिस टीम के साथ कानपुर के चौबेपुर इवाक़े में स्थित बिकारू गांव में विकास दुबे को गिरफ़्तार करने गये थे, मगर वहां छतों से चलीं ताबड़तोड़ गोलियों से 8 पुलिस कर्मी शहीद हो गये, जिनमें डीएसपी मिश्रा भी शामिल थे।

यूपी सरकार ने दुबे की गिरफ़्तारी के लिए सूचना देने वाले को 5 लाख रुपये ईनाम का एलान किया था। 9 जुलाई को दुबे को उज्जैन को महाकाल मंदिर से गिरफ़्तार किया गया था। 10 जुलाई को सुबह उसे जिस गाड़ी में कानपुर लाया जा रहा था, उसका एक्सीडेंट हो गया। फ़रार होने की कोशिश करते हुए दुबे एनकाउंटर में मारा गया था।

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