Jharkhand Assembly Election 2019: आर या पार के मूड में दिख रहे Ex CM हेमंत सोरेन, इधर भाजपा-उधर कांग्रेस से जंग

नेता प्रतिपक्ष हेमंत सोरेन ने एक साथ कई मोर्चे पर जंग छेड़ दी है। मुख्‍यमंत्री रघुवर दास को कानूनी कार्रवाई की नोटिस देकर वे झारखंड विधानसभा चुनाव में बढ़त हासिल करते दिख रहे हैं।

By Alok ShahiEdited By: Publish:Tue, 17 Sep 2019 03:44 PM (IST) Updated:Tue, 17 Sep 2019 05:58 PM (IST)
Jharkhand Assembly Election 2019: आर या पार के मूड में दिख रहे Ex CM हेमंत सोरेन, इधर भाजपा-उधर कांग्रेस से जंग
Jharkhand Assembly Election 2019: आर या पार के मूड में दिख रहे Ex CM हेमंत सोरेन, इधर भाजपा-उधर कांग्रेस से जंग

रांची, [आलोक]। झारखंड विधानसभा चुनाव 2019 की भले ही अब तक घोषणा न हुई हो, लेकिन यहां राजनीतिक तल्‍खी लगातार बढ़ती जा रही है। नेता प्रतिपक्ष और पूर्व मुख्‍यमंत्री हेमंत सोरेन ने सत्तारुढ़ भाजपा के नेता मुख्‍यमंत्री रघुवर दास को कानूनी कार्रवाई की नोटिस देकर सियासी तपिश बढ़ा दी है। बदलाव यात्रा पर निकले हेमंत ने अपने राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों खासकर भाजपा को इस नोटिस के जरिये यह संदेश दिया है कि किसी भी सूरत में वे भाजपा को नहीं बख्‍शेंगे।

आरोप-प्रत्‍यारोप की राजनीति के बीच जहां अभी विपक्षी दलों के महागठबंधन की रूप-रेखा तय होनी बाकी है, वहीं कांग्रेस की ओर से बार-बार हेमंत सोरेन के नेता की दावेदारी को ख‍ारिज किया जाना भी उन्‍हें खूब अखर रहा है। वे बार-बार लोकसभा चुनाव के समय कांग्रेस के पूर्व अध्‍यक्ष राहुल गांधी की ओर से उन्‍हें विधानसभा चुनाव में नेता घोषि‍त किए जाने की दुहाई दे रहे हैं। जबकि कांग्रेस के प्रदेश अध्‍यक्ष रामेश्‍वर उरांव कई बार सार्वजनिक मंच पर विपक्षी महागठबंधन के नेता की उनकी दावेदारी को खारिज कर चुके हैं। इस कड़ी में हेमंत सोरेन ने बीते दिन हड़ताल पर चल रहीं आंगनबाड़ी सेविकाओं से मिलकर सरकार को जमकर कोसा और इस बार चुनाव में भाजपा सरकार को उखाड़ फेंकने का संकल्‍प दर्शाया।

भाजपा और झामुमो के बीच जुबानी जंग तेज
हेमंत सोरेन के लीगल नोटिस पर बवाल बढ़ गया है। भाजपा ने हालांकि हेमंत पर मुकदमे की धमकी को लेकर जमकर पलटवार किया है। भाजपा प्रवक्‍ता प्रतुल शाहदेव ने कहा है कि वे जनता को यह क्‍यों नहीं बताते कि उनके रवि केजरीवाल से क्‍या संबंध हैं। एक-एक कर हेमंत पर कई आरोप लगाते हुए बीजेपी ने कहा कि आदिवासी जमीन से जुड़े सीएनटी-एसपीटी एक्‍ट का सबसे ज्‍यादा उल्‍लंघन हेमंत सोरेन के परिवार ने ही किया है। पूछा कि हेमंत और उनके परिवार ने राज्‍य के अलग-अलग जिलों में जो जमीनें खरीदी हैं, उसके लिए पैसा कहां से आया। बीजेपी की ओर से हेमंत सोरेन और उनके परिवार के नाम संपत्ति का पूरा ब्‍योरा भी सार्वजनिक किया गया। भाजपा ने जल्‍द ही सोरेन परिवार की परिसंपत्तियों की जांच कराने की बात कही है।

कांग्रेस ने फिर कहा- अ‍ब तक तय नहीं हुआ महागठबंधन का नेता

कांग्रेस ने बार-बार हेमंत सोरेन की मुख्‍यमंत्री पद की दावेदारी को खारिज कर अलग ही झामुमो और महागठबंधन की राह में बखेड़ा कर दिया है। बीते दिन जमशेदपुर में कांग्रेस के प्रदेश अध्‍यक्ष रामेश्‍वर उरांव ने हेमंत को फिर से आईना दिखाया। उन्‍होंने सार्वजनिक रूप से कहा कि विधानसभा चुनाव के लिए महागठबंधन बनने के बाद या फिर सीटों के बंटवारे के बाद ही विपक्षी महागठबंधन की ओर से नेता तय किया जाएगा। कांग्रेस के प्रदेश अध्‍यक्ष डॉ रामेश्‍वर उरांव इसके पहले भी कई बार हेमंत सोरेन की दावेदारी को सिरे से नकार चुके हैं। उनके ताजा बयानों का मतलब निकालें तो कांग्रेस का मकसद भले ही किसी भी सूरत में भाजपा सरकार को उखाड़ फेंकना या भाजपा विरोधी वोटों का‍ बिखराव रोकना हो, लेकिन वह कुछ मुद्दों पर जल्‍द समझाैता के मूड में नजर नहीं आ रही है।

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