देशभर के वाहन चालक ध्यान दें, एक गलती पड़ेगी भारी; दिल्ली में देना होगा 10,000 रुपये चालान

Traffic Challan In Delhi दिल्ली परिवहन विभाग ने चेताया है कि बगैर पीयूसीसी वालों के खिलाफ होगी कार्रवाई जिसमें 10 हजार का जुर्माना है और छह माह की सजा निर्धारित है या फिर चालान और सजा दोनों भी हो सकते हैं।

By Jp YadavEdited By: Publish:Mon, 20 Sep 2021 07:55 AM (IST) Updated:Mon, 20 Sep 2021 09:29 AM (IST)
देशभर के वाहन चालक ध्यान दें, एक गलती पड़ेगी भारी; दिल्ली में देना होगा 10,000 रुपये चालान
देशभर के वाहन चालक ध्यान दें, इस एक गलती पर दिल्ली में होगा 10,000 रुपये चालान

नई दिल्ली [वीके शुक्ला]। देश की राजधानी दिल्ली में वाहन चला रहे हैं तो प्रदूषण नियंत्रण प्रमाणपत्र (पीयूसीसी) बनवाकर साथ रखें, नहीं तो जेब में 10,000 रुपये डालकर चलें, क्योंकि दिल्ली परिवहन विभाग इस मामले में बड़ा अभियान चलाने जा रहा है। इस दौरान बगैर पीयूसीसी वालों को किसी तरह की राहत नहीं मिलेगी। इस बाबत दिल्ली परिवहन विभाग ने चेताया है कि बगैर पीयूसीसी वालों के खिलाफ होगी कार्रवाई, जिसमें 10 हजार का जुर्माना है और छह माह की सजा निर्धारित है या फिर चालान और सजा दोनों भी हो सकते हैं। इसके अलावा तीन माह तक के लिए ड्राइविंग लाइसेंस भी निरस्त किया जा सकता है। दिल्ली में देशभर के लोग अपने निजी वाहनों से सफर करते हैं, ऐसे में उन्हें यह नियम जान लेना चाहिए। वरना 10,000 जुर्माना और 6 महीने की जेल हो सकती है। या फिर दोनों ही हो सकते हैं। 

दिल्ली में अक्टूबर से प्रदूषण बढ़ने लगता है। दिल्ली सरकार प्रदूषण नियंत्रण करने के सभी कदम उठा रही है। इसी प्रक्रिया में पीयूसीसी के मामले में भी सख्ती की जा रही है। मुख्य सचिव विजय देव ने गत दिनों इस मामले में विभाग को निर्देश दिए हैं। जिसके बाद परिवहन विभाग ने उन लोगों पर भी सख्ती की है जो पीयूसीसी बनाते हैं। जिसमें उनसे कहा गया है कि वे लोग उन्हीं के ही पीयूसीसी बनाएं जो वाहन प्रदूषण नियंत्रण से संबंधित मानकों पर खरे उतर रहे हों।

यहां बता दें कि दिल्ली में प्रदूषण को लेकर दिल्ली सरकार की कई बार पड़ोसी राज्यों से भी ठन चुकी है। कारण दूसरे राज्यों से दिल्ली में आने वाला प्रदूषण रहा है। दिल्ली सरकार आरोप लगाती रही है कि पड़ोसी राज्यों से पराली जलाने से आने वाले प्रदूषण से दिल्ली की हवा खराब होती है। सरकार के अनुसार कोरोना काल में भी इसके घातक परिणाम दिल्ली देख चुकी है। यहां गौर करने वाली बात यह भी है कि सख्त कानून के बाद भी कई लोग पीयूसीसी नहीं बनवा रहे हैं। दिल्ली में 973 स्थानों पर प्रदूषण की जांच कर प्रमाण पत्र लिया जा सकता है। इसमें लगभग सभी पेट्रोल पंप भी शामिल हैं। अब इस मामले में लापरवाही करने वाले लोगों को मुश्किल बढ़ सकती है।

किस साल कितने काटे गए चालन बगैर पीयूसीसी व धुआं छोड़ने वाले वाहन पर

एक अप्रैल 2016 से 31 मार्च 2017- 20206- 26685 एक अप्रैल 2017 से 31 मार्च 2018- 28156- 45310 एक अप्रैल 2018 से 31 मार्च 2019- 33070- 65225 एक अप्रैल 2019 से 31 मार्च 2020- 27183- 26668 एक अप्रैल 2020 से 31 मार्च 2021-12101- 355

 10 साल डीजल और 15 साल पुराने पेट्रोल वाहन पर भी सख्ती की तैयारी

दिल्ली परिवहन विभाग से लगातार अनुरोध किया जा रहा है कि पुराने वाहन मालिक अपने वाहन अधिकृत एजेंसी पर स्क्रैप कराएं, वरना ऐसे वाहनों के खिलाफ जल्दी ही कार्रवाई की जाएगी। दरअसल, दिल्ली में 10 साल पुराने डीजल और पेट्रोल के 15 साल से अधिक पुराने वाहनों को सड़क पर चलाने की अनुमति नहीं है। ऐसे में दिल्ली सरकार अखबारों और अन्य माध्यमों के जरिये विज्ञापन देकर पुरानी गाड़ियों को चलाने पर रोक लगाने जानकारी लोगों को दे रही है। अभियान के तहत नियमों का उल्लंघन करने पर दिल्ली परिवहन विभाग ने केवल ऐसे वाहनों को सीज करेगा, बल्कि भारी-भरकम जुर्माना भी लगाएगा।

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