मेट्रो के सफर में भीड़ से बचना है तो इस समय करें आरामदायक और सुविधाजनक सफर, मेट्रो ने अपने यात्रियों से की अपील

मेट्रो ने अपने इंटरनेट मीडिया ट्विटर के माध्यम से यात्रियों से अपील की है कि वो कोरोनाकाल में मेट्रो के अंदर और बाहर की भीड़ से बचना चाहते हैं तो वो नान पीक आवर्स में मेट्रो में सफर करें। पीक आवर्स में मेट्रो ट्रेन के अंदर और स्टेशनों के बाहर यात्रियों की लंबी लाइनें लग जाती हैं

By Vinay Kumar TiwariEdited By: Publish:Wed, 28 Jul 2021 06:34 PM (IST) Updated:Thu, 29 Jul 2021 12:28 PM (IST)
मेट्रो के सफर में भीड़ से बचना है तो इस समय करें आरामदायक और सुविधाजनक सफर, मेट्रो ने अपने यात्रियों से की अपील
मेट्रो के अंदर और बाहर की भीड़ से बचना चाहते हैं तो वो नान पीक आवर्स में मेट्रो में सफर करें।

नई दिल्ली, आनलाइन डेस्क। दिल्ली मेट्रो में सभी सीटों पर बैठकर सफर करने की इजाजत मिल गई है उसके बाद भी मेट्रो स्टेशनों पर यात्रियों की लंबी लाइनें लग रही हैं। ऐसे में अब मेट्रो ने अपने इंटरनेट मीडिया ट्विटर के माध्यम से यात्रियों से अपील की है कि वो कोरोनाकाल में मेट्रो के अंदर और बाहर की भीड़ से बचना चाहते हैं तो वो नान पीक आवर्स में मेट्रो में सफर करें। पीक आवर्स में मेट्रो ट्रेन के अंदर और स्टेशनों के बाहर यात्रियों की लंबी लाइनें लग जाती हैं, यदि बहुत जरूरी न हो तो यात्री नान पीक आवर्स में ही सफर करें, इससे उनको कम समय में मेट्रो में इंट्री मिल जाएगी। ट्रेन के अंदर बैठने की सीट भी मिल सकेगी और लाइन में लगकर मेट्रो कैंपस में जाने के लिए इंतजार नहीं करना होगा।

Full seating capacity still means that the Metro is running at just 20% of its total capacity. To prevent overcrowding, travel during off-peak hours. #CovidIsntOverYet pic.twitter.com/iNEK9bUNaJ— Delhi Metro Rail Corporation I कृपया मास्क पहनें😷 (@OfficialDMRC) July 28, 2021

गौरतलब है कि 25 जुलाई तक मेट्रो में प्रतिदिन औसतन आठ लाख यात्री यात्राएं करते थे। सोमवार को रात नौ बजे करीब नौ लाख यात्रियों ने यात्राएं कीं। मेट्रो में खड़े होकर सफर करने पर नौ फ्लाईंग स्क्वाएड टीम ने 432 यात्रियों को ट्रेन से उतार दिए। वहीं 159 यात्रियों पर 200-200 रुपये जुर्माना लगाया गया। डीएमआरसी का कहना है कि कोरोना से बचाव के नियमों का पालन करने के लिए प्रतिदिन करीब 470 यात्रियों की काउंसलिंग की जाती है।
वहीं, इसके पहले दिन यानी सोमवार को व्यस्त समय में स्टेशनों के बाहर से लेकर मेट्रो ट्रेनों के अंदर तक अव्यवस्था दिखी। स्टेशन के बाहर यात्रियों को 30 मिनट से लेकर एक घंटे तक लाइन में खड़ा होना पड़ा। इससे यात्रियों को परेशानी भी हुई। वहीं सुबह में मेट्रो के अंदर भी काफी भीड़ रही और यात्रियों ने खड़े होकर सफर किया। इस वजह से शारीरिक दूरी के नियम धरे रहे गए। ऐसे में कोरोना के संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है।
खड़े होकर सफर करने पर फ्लाइंग स्क्वाड करेगी कार्रवाई

डीएमआरसी ने यात्रियों से खड़े होकर सफर नहीं करने की अपील की है। साथ ही यह भी कहा कि फ्लाइंड स्क्वाड की टीम औचक जांच करेगी ताकि मेट्रो में भीड़ न होने पाए। इसके अलावा खड़े होकर सफर करने वाले यात्रियों के खिलाफ फ्लाइंग स्क्वाड टीम जुर्माना करेगी। यात्रियों को जागरूक भी किया जा रहा है कि नियमों का पालन करें। बहरहाल एक दिन पहले तक मेट्रो में एक सीट छोड़कर बैठने की व्यवस्था थी।

इसके लिए सभी मेट्रो ट्रेनों में हर एक सीट के बाद स्टिकर चिपकाया गया है। स्टिकर लगे सीट पर यात्रियों को नहीं बैठने का निर्देश लिखा हुआ है। बैठने की पूरी क्षमता के साथ मेट्रो का परिचालन तो शुरू हो गया लेकिन अभी ये स्टिकर हटाए नहीं जा सके हैं। इस वजह से कई मेट्रो में यात्री एक सीट छोड़कर बैठे भी नजर आए लेकिन उसी ट्रेन में कई यात्रियों ने खड़े होकर सफर किया।

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