रैपिड रेल परियोजना को रफ्तार देने के लिए गाजीपुर सब्जी मंडी के सामने बनेगा तीसरा कास्टिंग यार्ड
अभी दिल्ली-मेरठ रीजनल रैपिड रेल परियोजना का निर्माण कार्य सराय काले खां से लेकर मरेठ के मोदीपुरम तक पूरी गति से चल रहा है। यह कारिडोर 82.15 किलोमीटर का है। वहीं दिल्ली-गुरुग्राम-एसएनबी (शाहजहांपुर-नीमराना-बहरोड़) रैपिड रेल कॉरिडोर का काम रफ्तार पकड़ने लगा है।
नई दिल्ली [आशीष गुप्ता]। रीजनल रैपिड रेल परियोजना को रफ्तार देने के लिए गाजीपुर सब्जी मंडी के सामने तीसरा कास्टिंग यार्ड बनाया जाएगा। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र परिवहन निगम (एनसीआरटीसी) ने पांच साल के लिए यह जमीन दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) से लीज पर ली है। यहीं एलिवेटेड रैपिड रेल कारिडोर के लिए स्लैब और सेगमेंट तैयार किए जाएंगे। बाद में इनको ट्रक में रख कर कारिडोर निर्माण स्थल पर लेजाकर लांचिंग गैंट्री की मदद से दो पिलरों के बीच फिट करके वायाडक्ट (पुलनुमा हिस्सा) बनाया जाएगा। बता दें इससे पहले एनसीआरटीसी वसुंधरा और मेरठ में अपना कास्टिंग यार्ड बना चुकी है।
जमीन को कर रहे समतल
जिस जमीन को कास्टिंग यार्ड बनाने के लिए एनसीआरटीसी ने लीज पर लिया है, वहां झाड़ खड़े हुए थे। गंदगी का अंबार लगा हुआ था। लीज पर लेते ही एनसीआरटीसी ने वहां सफाई करा दी है। अब जेसीबी मशीनों की मदद से जमीन को समतल किया जा रहा है। यह कार्य पूरा होने के बाद चारदीवारी की जाएगी। स्लैब और सेगमेंट का निर्माण करने के लिए मशीन और सामग्री लगाई जाएगी। एनसीआरटीसी के अधिकारियों ने बताया कि यार्ड में प्रदूषण की रोकथाम के लिए पूरी व्यवस्था की जाएगी। जिस तरह की व्यवस्था वसुंधरा कास्टिंग यार्ड में कर रखी है।
यहां चल रहा रैपिड रेल परियोजना का काम
अभी दिल्ली-मेरठ रीजनल रैपिड रेल परियोजना का निर्माण कार्य सराय काले खां से लेकर मरेठ के मोदीपुरम तक पूरी गति से चल रहा है। यह कारिडोर 82.15 किलोमीटर का है। वहीं दिल्ली-गुरुग्राम-एसएनबी (शाहजहांपुर-नीमराना-बहरोड़) रैपिड रेल कॉरिडोर का काम रफ्तार पकड़ने लगा है। दोनों ही परियोजनाओं में गाजीपुर मंडी के सामने बनने वाली कास्टिंग यार्ड की भूमिका अहम होगी।
Coronavirus: निश्चिंत रहें पूरी तरह सुरक्षित है आपका अखबार, पढ़ें- विशेषज्ञों की राय व देखें- वीडियो