कोरोना वायरस संक्रमण के बीच दिल्ली पर डेंगू का भी खतरा, इस बार टूट गया 8 साल का रिकॉर्ड

Dengue Fever Outbreak in Delhi एक सप्ताह में डेंगू के चार मरीज सामने आए हैं। चार नए मरीजों के आने से पिछले पांच माह में डेंगू के कुल मरीजों की संख्या 25 तक जा पहुंची है जो वर्ष 2013 के बाद सर्वाधिक है।

By Jp YadavEdited By: Publish:Tue, 25 May 2021 12:13 PM (IST) Updated:Tue, 25 May 2021 01:20 PM (IST)
कोरोना वायरस संक्रमण के बीच दिल्ली पर डेंगू का भी खतरा, इस बार टूट गया 8 साल का रिकॉर्ड
कोरोना वायरस संक्रमण के बीच दिल्ली पर डेंगू का भी खतरा, इस बार टूट गया 8 साल का रिकॉर्ड

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। कोरोना वायरस संक्रमण के बीच देश की राजधानी दिल्ली में मच्छरजनित बीमारियों मसलन, चिकनगुनिया, डेंगू और मलेरिया जैसी बीमारियों के फैलने का भी खतरा मंडरा रहा है। ताजा मामले इस बात की तस्दीक कर रहे हैं।  दरअसल, पिछले कुछ दिनों के दौरान दिल्ली में डेंगू के मामलों ने पिछले 8 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। एक सप्ताह के दौरान ही डेंगू के चार मरीज सामने आए हैं। चार नए मरीजों के आने से पिछले पांच माह में डेंगू के कुल मरीजों की संख्या 25 तक जा पहुंची है, जो वर्ष 2013 के बाद सर्वाधिक है। डेंगू के अलावा चिकनगुनिया के एक मरीज की पुष्टि हुई है। इससे चिकनगुनिया के कुल मरीजों की संख्या चार तक पहुंच गई है, वहीं एक सप्ताह में मलेरिया का कोई मरीज सामने नहीं आया है। हालांकि अब तक मलेरिया के आठ मरीजों की पुष्टि हो चुकी है।

खतरनाक है डेंगू की बीमारी

डेंगू बुखार विश्वभर में हर साल लाखों लोगों की जान ले लेता है। मच्छरजनित बीमारियों में डेंगू, चिकनगुनिया और मलेरिया की चपेट में बच्चे बहुत ही आसानी से आ जाते हैं। तकरीबन एक दशक पहले कहर बरपाकर सैकड़ों लोगों की जान लेने वाले डेंगू के मामले में मृत्युदर तकरीबन एक फीसद के आसपास है।

कैसे फैलता है डेंगू

डेंगू दरअसल एक मच्छर है, जो बरसात के मौसम में बेहद तेजी से फैलता है। वैसे  दिल्ली-एनसीआर में अब बरसात का मोहताज नहीं है, बल्कि सालभर ही डेंगू के मामले आते हैं। ये अलग बता है कि बरसात के मौसम के बाद डेंगू के मामलों में बेतहाशा बढ़ोतरी होती है।  अगर किसी को भी तेज़ बुखार और डेंगू से जुड़े लक्षण दिखाए देते हैं तो सबसे पहले खून की जांच कराएं। 

करें यह काम

साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखें। इस कड़ी में अपने घर के आसपास पानी इकट्ठा नहीं होने दें। लक्षण दिखने पर खुद डॉक्टर न बनें और सबसे पहले जांच कराएं। डेंगू से बचाव का सबसे आसान तरीका यही है कि लोग डेंगू की रोकथाम करें और इसे फैलने से बचाएं। 

डेंगू बुखार के लक्षण मांसपेशियों, जोड़ों, सर और पूरे शरीर में दर्द होना। शारीरिक कमज़ोरी आना, भूख न लगना डेंगू के दौरान पूरे शरीर पर रैशेज़ भी हो सकते हैं। डेंगू के दौरान तेज़ बुखार 3-4 दिनों तक बना रहता है, इसके साथ कई बार पेट दर्द की शिकायत भी होती है और उल्टियां भी होने लगती है। तेज़ बुखार आना और ठंड लगना कभी कभार ब्लड प्रेशर का सामान्य से बेहद ही कम हो जाना

जानिये- ये अहम बात डेंगू का वायरस एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति को संक्रमित नहीं हो सकता। कहने का मतलब यह कोरोना वायरस की तरह फैलता है। यह वायरस मच्छर के जरिये फैलता है।स्वस्थ व्यक्ति को डेंगू संक्रमित कर सकता है। कोरोना वायरस संक्रमण की तरह डेंगू भी अपना शिकार ऐसे लोगों को आसानी से बना लेता है जिनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कम होती है। डेंगू का मच्छर दिन के समय काटता है और इन मच्छरों को एडीज़ इजिप्टी कहते हैं। डेंगू बुखार किसी भी उम्र के स्वस्थ व्यक्ति या बच्चे को हो सकता है। डेंगू की रोकथाम का सबसे पहला और जरूरी कदम यही है कि मच्छरों को पैदा होने से रोकें। अपने घर के आसपास जल जमाव न होने दें। कूलर के पानी को हर हफ़्ते बदलें। गमले और छत पर पड़े डिब्बे, टायरों और पुराने बर्तनों में पानी जमा न होने दें। इस तरह आप मच्छरों को पैदा होने से रोक सकते हैं।

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