दिल्ली सरकार पर बिफरे जामा मस्जिद के शाही इमाम, पूछा- शराब की दुकानें खुल सकती हैं तो इबादतगाहों में आम लाेगों लोगों की एंट्री क्यों नहीं?

जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने दिल्ली मेें कोरोना से हजारों लोगों की मौतों का जिम्मेदार दिल्ली सरकार को बताते हुए मुख्यमंत्री का इस्तीफा मांगा है। वैसे बुखारी और मुख्यमंत्री के रिश्ते पहले से सामान्य नहीं बताए जाते हैं।

By Mangal YadavEdited By: Publish:Mon, 21 Jun 2021 08:35 PM (IST) Updated:Mon, 21 Jun 2021 08:35 PM (IST)
दिल्ली सरकार पर बिफरे जामा मस्जिद के शाही इमाम, पूछा- शराब की दुकानें खुल सकती हैं तो इबादतगाहों में आम लाेगों लोगों की एंट्री क्यों नहीं?
पुरानी दिल्ली स्थित जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी

नई दिल्ली [नेमिष हेमंत]। पुरानी दिल्ली स्थित जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने दिल्ली मेें कोरोना से हजारों लोगों की मौतों का जिम्मेदार दिल्ली सरकार को बताते हुए मुख्यमंत्री का इस्तीफा मांगा है। बुखारी इससे खासे नाराज है कि सरकार ने शराब की दुकानों को खोलने की इजाजत तो दे दी है। पर इबादतगाहों में लाेगों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा रखा है। उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार उन्हीं चीजों को खोल रही है जहां उसका फायदा हो रहा है। इसलिए सबसे पहले शराब की दुकानें खुलवाकर वहां भीड़ बढ़वा दी। भले ही इससे लोगों के घर तबाह हो रहे हो। पर इबादतगाहो में आम लोगों के प्रवेश पर मनाही है।

उन्होंने सवाल करते हुए कहा कि अगर इबादतगाहों में लोगों का प्रवेश नहीं है तो उन्हें खोलने का मतलब क्या है। क्या सरकार लोगों को बेवकूफ समझ रही है। सरकार पर हमला जारी रखते हुए बुखारी ने कहा कि जब सभी को यह मालूम था कि कोरोना की लहर आने वाली है, लेकिन दिल्ली सरकार ने कोई तैयारी नहीं की। जिसके कारण आक्सीजन, बेड व दवाओं की कमी के चलते हजारों दिल्लीवालोें की जानें गई।

यहीं नहीं अस्पतालों में ओपीडी सेवा बंद होने से हार्ट, कैंसर, किडनी अौर लग्स के मरीज को समय से इलाज नहीं मिला। मेडिकल आक्सीजन की किल्लत को दूर करने के लिए फैक्ट्रियों के आक्सीजन को उपयोग में लाया गया। उन वजहाें से भी कई लोग मरे। इन सभी मौतों का जिम्मेदार सरकार है।

बुखारी की यह तल्ख टिप्पणी पुरानी दिल्ली के मटिया महल से विधायक शोएब इकबाल के उस बयान के चंद दिन बाद आई है, जिसमें इकबाल ने दिल्ली सरकार को कोरोना संक्रमितों को इलाज दे पाने में विफल बताते हुए दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की थी।

वैसे, बुखारी और मुख्यमंत्री के रिश्ते पहले से सामान्य नहीं बताए जाते हैं। वर्ष 2015 के दिल्ली विधानसभा चुनाव में बुखारी ने मुसलमानों को आम आदमी पार्टी (आप) के पक्ष में मतदान की अपील की थी, जिसे तब आप ने खारिज कर दिया था।

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