दिल्ली कैंट इलाके में नकली CBI अफसर समेत 2 लोग गिरफ्तार, कई यात्रियों को बना चुका है ठगी का शिकार

पुलिस ने ठगी के आरोप में दो ऐसे लोगों को गिरफ्तार किया है जिनमें से एक खुद को सीबीआई आफिसर बताता था और सामान की तलाशी लेने के नाम पर नकदी व कीमती सामान पर हाथ साफ कर देता था। आरोपित कई लोगों को ठगी का शिकार बना चुके हैं।

By Mangal YadavEdited By: Publish:Wed, 23 Jun 2021 04:16 PM (IST) Updated:Wed, 23 Jun 2021 04:16 PM (IST)
दिल्ली कैंट इलाके में नकली CBI अफसर समेत 2 लोग गिरफ्तार, कई यात्रियों को बना चुका है ठगी का शिकार
एक आरोपित पर सात तो दूसरे पर दो मामले हैं दर्ज

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली कैंट थाना पुलिस ने ठगी के आरोप में दो ऐसे लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें से एक खुद को सीबीआई आफिसर बताता था और सामान की तलाशी लेने के नाम पर नकदी व कीमती सामान पर हाथ साफ कर देता था। आरोपित कई लोगों को ठगी का शिकार बना चुके हैं। इनके निशाने पर खासकर ऐसे लोग होते थे जो धौलाकुआं से पुरानी दिल्ली का रुख खरीददारी के लिए करते थे। खासकर राजस्थान से आने वाले यात्रियों को ये शिकार बनाते थे। आरोपितों में रितेश व संजीव शामिल है। संजीव खुद को सीबीआई आफिसर बताता था।

21 जून को राजस्थान के भरतपुर निवासी जफारुद्दीन नामक ने दिल्ली कैंट थाना में दर्ज कराई। पीड़ित के साथ ठगी की वारदात 19 जून को हुई थी। पीड़ित राजस्थान से दिल्ली कपड़े की खरीददारी के लिए आए थे। वे जामा मस्जिद जाने के लिए धौलाकुआं से एक आटो पर सवार हुए। आटो में एक आदमी पहले से ही सवार था। कुछ दूर चलने के बाद आटो पर सवार उस शख्स ने कहा कि वह सीबीआई आफिसर है। उसने आटो चालक को ड्राइविंग लाइसेंस दिखाने को कहा। उसने और भी कागजात देखे और सामानों की तलाशी लेने लगा।

इस दौरान ही उसने 50 हजार रुपये व कुछ कागजात चुरा लिए। पुलिस ने छानबीन के दौरान आटो के रजिस्ट्रेशन नंबर का पता कर लिया। इस नंबर के आधार पर पुलिस पश्चिम विहार में एक व्यक्ति के पास पहुंची जिसके नाम आटो था। लेकिन पता चला कि आटो बेचा जा चुका है। आटो रितेश कुमार को बेचा गया था। यहां से मिले जानकारी के आधार पर पुलिस ने रितेश को हस्तसाल इलाके से गिरफ्तार कर लिया।

पूछताछ में रितेश ने पुलिस को बताया कि उस दिन आटो में संजीव व अशोक उसके साथ थे। संजीव खुद को सीबीआई आफिसर बताता था। पुलिस ने संजीव को भी दबोच लिया। छानबीन में पता चला कि संजीव इससे पहले भी इसी तरह से कई लोगों के साथ ठगी कर चुका है। उसपर सात मामले दर्ज हैं। रितेश पर भी इसी तरह के दो मामले दर्ज हैं

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