दिल्ली हाई कोर्ट ने शुरू की क्यूआर कोड आधारित डिजिटल एंट्री की व्यवस्था

हाई कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि क्यूआर पास संबंधित सभी पक्षों और पक्षकारों को दिया जाएगा जिन्होंने केस-इन्फॉर्मेशन सिस्टम में अपना मोबाइल नंबर और ईमेल आइडी पंजीकृत कराया है। इन क्यूआर पास को प्रिंट कराने की जरूरत नहीं होगी।

By Mangal YadavEdited By: Publish:Tue, 26 Jan 2021 06:11 AM (IST) Updated:Tue, 26 Jan 2021 08:12 AM (IST)
दिल्ली हाई कोर्ट ने शुरू की क्यूआर कोड आधारित डिजिटल एंट्री की व्यवस्था
क्यूआर पास के साथ संबंधित वकील और पक्षकार को अपने पास एक आइडी प्रूफ रखना होगा।

नई दिल्ली [विनीत त्रिपाठी]। कोरोना महामारी के बीच सामान्य कामकाज की तरफ बढ़ रहे दिल्ली हाई कोर्ट में अब डिजिटल एंट्री की व्यवस्था की जा रही है। इसके तहत विभिन्न मामलों की फिजिकल सुनवाई के लिए अदालत कक्ष में जाने वाले अधिवक्ताओं को डिजिटल एंट्री के लिए क्यूआर कोड उपलब्ध कराया जाएगा। दिल्ली हाई कोर्ट ने एक आदेश जारी कर संबंधित अधिवक्ताओं व कर्मचारियों को सूचित किया है कि कोर्ट ब्लॉक में प्रवेश की वर्तमान प्रणाली के अलावा प्रायोगिक तौर पर सोमवार से क्यूआर कोड-आधारित डिजिटल एंट्री पास सिस्टम भी शुरू किया जा रहा है।

हाई कोर्ट रजिस्ट्रार जनरल मनोज जैन द्वारा जारी किए गए आदेश के अनुसार क्यूआर कोड-आधारित डिजिटल एंट्री पास के लिए विभिन्न मानक प्रक्रिया बनाई गई है। इसके तहत फिजिकल सुनवाई करने वाली पीठ के समक्ष सूचीबद्ध मामलों से जुड़े अधिवक्ता एक दिन पहले हाई कोर्ट रजिस्ट्री द्वारा डिजिटल क्यूआर पास जारी करवा सकते हैं।

हाई कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि क्यूआर पास संबंधित सभी पक्षों और पक्षकारों को दिया जाएगा, जिन्होंने केस-इन्फॉर्मेशन सिस्टम में अपना मोबाइल नंबर और ईमेल आइडी पंजीकृत कराया है। इन क्यूआर पास को प्रिंट कराने की जरूरत नहीं होगी और यह पास उसी दिन के लिए मान्य होगा जिस दिन जारी किया गया है। प्रवेश और निकास द्वार पर तैनात सुरक्षाकर्मी क्यूआर कोड रीडर का प्रयोग कर अधिवक्ता और पक्षकारों का विवरण प्राप्त कर सकेंगे। संबंधित ब्लॉक में प्रवेश के समय क्यूआर पास के साथ संबंधित वकील और पक्षकार को अपने पास एक आइडी प्रूफ रखना होगा।

इसके साथ ही अधिवक्ताओं को सुनिश्चित करना होगा कि क्यूआर पास का दुरुपयोग किसी दूसरे के द्वारा न हो। क्यूआर पास गैर-हस्तांतरणीय है, लेकिन अगर कोई अधिवक्ता अदालत की कार्यवाही में शामिल होने की स्थिति में नहीं है और किसी अन्य अधिवक्ता को अदालत में भेजने का निर्देश देता है तो उसे इसकी लिखित जानकारी देनी होगी। ऐसी स्थिति में अधिवक्ता को उसे जारी किए गए क्यूआर पास की प्रति अधिकृत वकील को अपनी आइडी की प्रति के साथ देना होगा और अधिकृत वकील को उचित सत्यापन के बाद प्रवेश की अनुमति दी जाएगी।

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