DCW चीफ स्वाति जयहिंद की केंद्र व यूपी सरकार से अपील, उन्नाव दुष्कर्म के दोषियों को 1 महीने के भीतर मिले फांसी

स्वाति जयहिंद बीते चार दिन से राजघाट पर अनशन कर रही हैं। स्वाति की मांग है कि दुष्कर्म के आरोपितों को छह माह के भीतर फांसी की सजा का प्रावधान किया जाए।

By JP YadavEdited By: Publish:Sat, 07 Dec 2019 08:17 AM (IST) Updated:Sat, 07 Dec 2019 08:17 AM (IST)
DCW चीफ स्वाति जयहिंद की केंद्र व यूपी सरकार से अपील, उन्नाव दुष्कर्म के दोषियों को 1 महीने के भीतर मिले फांसी
DCW चीफ स्वाति जयहिंद की केंद्र व यूपी सरकार से अपील, उन्नाव दुष्कर्म के दोषियों को 1 महीने के भीतर मिले फांसी

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली महिला आयोग ( Delhi Commission for Women) की अध्यक्ष स्वाति जयहिंद का आमरण अनशन शनिवार को पांचवें दिन में प्रवेश कर गया। वहीं, शनिवार सुबह उन्होंने बयान दिया है कि मेरी उत्तर प्रदेश सरकार और केंद्र सरकार से गुजारिश है कि उन्नाव दुष्कर्म के आरोपितों को एक महीने के भीतर दोषियों को फांसी दी जाए।  

स्वाति के अनशन को जावेद जाफरी व रघु राम का समर्थन

दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति जयहिंद बीते चार दिन से राजघाट पर अनशन कर रही हैं। स्वाति की मांग है कि दुष्कर्म के आरोपितों को छह माह के भीतर फांसी की सजा का प्रावधान किया जाए। शुक्रवार को दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और कई वरिष्ठ नेता स्वाति से मिलने पहुंचे। अनशन को समर्थन देने आए नेताओं में कांग्रेस से राज्यसभा सांसद राजमणि पटेल भी शामिल रहे।

मनीष सिसोदिया ने स्वाति से अपना अनशन खत्म करने की अपील की। जनता को संबोधित करते हुए सिसोदिया ने कहा कि स्वाति अपनी जान दांव पर लगाकर महिलाओं के हितों के लिए काम करती हैं। वहीं, राज्यसभा सांसद राजमणि पटेल ने देश में बढ़ रही रेप की घटनाओं और अपराधों पर चिंता जताई और स्वाति को उनकी मुहिम के लिए बधाई दी। उन्होंने मंच से ये भी आश्वासन दिया कि सदन में वह महिला सुरक्षा के मुद्दे को मजबूती से उठाएंगे।

बॉलिवुड अभिनेता जावेद जाफरी, रघु राम, अहसास चन्ना, टीवी अभिनेत्री अविका गौर, फिल्म निर्देशक श्लोक शर्मा ने भी सोशल मीडिया के जरिये स्वाति को अपना समर्थन दिया। स्वाति ने कहा कि जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होंगी तब तक वह अपना अनशन नहीं तोड़ेंगी। उन्होंने कहा कि दुष्कर्म और यौन शोषण जैसे मामलों में लंबी कानूनी प्रक्रिया के चलते पीड़ित परिवारों को काफी मुश्किल होती है। जब देश का न्याय तंत्र मजबूत नहीं होगा तो भविष्य में पुलिस की तरफ से ऐसे और कई भी एनकाउंटर सुनने को मिलेंगे।

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