अस्पतालों में अभी कम नहीं होंगे कोरोना के लिए अधिकृत बेड
राजधानी में कोरोना के मामलों में कमी आने के बाद अस्पतालों में करीब 77 फीसद बेड खाली पड़े हैं। इन बेडों का इस्तेमाल अन्य बीमारियों के इलाज में नहीं हो रहा है। इसके मद्देनजर दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने कहा कि कोरोना के मामलों में अभी स्थिरता नहीं आई है। नए मामलों में उतार चढ़ाव देखा जा रहा है। अभी आगे यह कैसे बर्ताव करेगा यह भी नहीं मालूम। इसलिए अस्पतालों में अभी तैयारियां कम नहीं की जाएंगी। ऐसे में अभी अस्पतालों में कोरोना के इलाज के लिए अधिकृत बेड अभी कम नहीं किए जाएंगे। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि दिल्ली सरकार स्थिति की समीक्षा करेगी। उसके अनुसार कदम उठाएगी।
राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली
राजधानी में कोरोना के मामलों में कमी आने के बाद अस्पतालों में करीब 77 फीसद बेड खाली पड़े हैं। इनका इस्तेमाल अन्य बीमारियों के इलाज में नहीं हो रहा है। इसके मद्देनजर दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने कहा कि कोरोना के मामलों में अभी स्थिरता नहीं आई है। नए मामलों में उतार चढ़ाव देखा जा रहा है। आगे कोरोना की स्थिति कैसी रहेगी यह नहीं मालूम। इसलिए अस्पतालों में कोरोना के इलाज के लिए अधिकृत बेड कम नहीं किए जाएंगे। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि दिल्ली सरकार स्थिति की समीक्षा करेगी।
उन्होंने कहा कि दिल्ली में कोरोना से 90 फीसद से ज्यादा मरीज ठीक हो चुके हैं। सक्रिय मरीज सात फीसद हैं। मौजूदा समय में कोरोना के मामले दोगुने होने की गति 50 दिन है। जबकि देश में यह गति 20 दिन है। उन्होंने कहा कि काफी संख्या में दूसरे राज्यों से मरीज इलाज के लिए दिल्ली पहुंच रहे हैं। इस वजह से अस्पतालों में भर्ती एक तिहाई से ज्यादा मरीज दिल्ली से बाहर के हैं। इस वजह से पिछले 10 दिनों से अस्पतालों में भर्ती मरीजों की संख्या कम नहीं हो रही है।
मौजूदा समय में अस्पतालों में अभी 13527 बेड हैं। जिसमें करीब 77 फीसद बेड खाली हैं। इसलिए जल्दी ही इसकी समीक्षा की जाएगी। पिछले दिनों अस्पतालों से जोड़े गए होटल को कोरोना के इलाज से हटा दिया गया। लेकिन, अभी किसी दिन 1200, किसी दिन 1400 तो कभी 700 मामले आ रहे हैं। इसलिए अभी इस पर निगरानी रखने की जरूरत है। कहीं ऐसा न हो कि अस्पतालों में कोरोना के इलाज की तैयारियां कम कर दी जाएं और मामले बढ़ जाएं। इसलिए हमें तैयार रहना पड़ेगा।
पिछले सीरो सर्वे में दिल्ली में 23.48 फीसद लोगों में एंटीबॉडी पाई गई थी। इसका मतलब यह है कि करीब 46 लाख लोग संक्रमित होने के बाद ठीक हो गए। देश में ऐसे लोगों की संख्या बहुत अधिक है।