भारत के सीनियर खिलाड़ियों को बायो बबल की पाबंदी पसंद नहीं, मुंबई इंडियंस के फिल्डिंग कोच का खुलासा

IPL 2021 MI fielding on bubble जेम्स ने कहा कुछ भारत के सीनियर खिलाड़ी पाबंदी में रहना नहीं पसंद करते उनको अच्छा नहीं लगता कि कहा जाए ये करो और ये नहीं करो लेकिन फिर भी हमें सुरक्षित महसूस होता है।

By Viplove KumarEdited By: Publish:Tue, 11 May 2021 05:15 PM (IST) Updated:Tue, 11 May 2021 05:44 PM (IST)
भारत के सीनियर खिलाड़ियों को बायो बबल की पाबंदी पसंद नहीं, मुंबई इंडियंस के फिल्डिंग कोच का खुलासा
मुंबई इंडियंस टीम के खिलाड़ी- फोटो ट्विटर पेज

नई दिल्ली, जेएनएन। इंडियन प्रीमियर लीग को भारत में लगातार बढ रहे कोरोना संक्रमितों की संख्या के बाद भी शुरू करने का फैसला लिया गया। इसके पीछे की वजह इस मुश्किल वक्त में खेल के जरिए लोगों का मनोरंजन करना था। दुर्भाग्य से टीम बबल में कोरोना संक्रमित के मामला आने के बाद टूर्नामेंट के बीच में ही बंद करना पड़ा। आइपीएल फ्रेंचाइजी टीम मुंबई इंडियंस के फील्डिंग कोच जेम्स पेममेंट ने घर वापस लौटने के बाद अपना अनुभव साझा किया है।

जेम्स ने कहा, "कुछ भारत के सीनियर खिलाड़ी पाबंदी में रहना नहीं पसंद करते उनको अच्छा नहीं लगता कि कहा जाए ये करो और ये नहीं करो, लेकिन फिर भी हमें सुरक्षित महसूस होता है। किसी भी वक्त हमें इस तरह का आभास हीं हुआ को बबल का नियमों का पालन नहीं हो रहा है। असली चुनौती यात्रा करना होता था।"

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"लेकिन हम उन भारतीय खिलाड़ियों को भी अपने माहौल में ढलते देखने लगे जिनके परिवार जन काफी ज्यादा बीमार थे। कुछ ऐसे भी थे जिनके बीच कुछ बहुत बुरा हुआ था और हमें इस चीज की थोड़ी बहुत भनक लग रही थी जबकि वो लोग कहते थे कि नहीं हमें चलते रहना चाहिए और इससे यह संदेश मिल रहा था कि इस एक चीज को ध्यान को बंटाने में काफी मदद मिलेगी।"

टेलिविजन पर भारत में लगातार बढ़ रहे मामलों से परेशान लोगों के देखने अनुभव पर उन्होंने कहा, "हां, आप सड़क पर अक्सर ही एम्बुलेंस देख रहे थे, लेकिन जो चीज आपका ज्यादा नजर आती थी वो ये कि लोग अपना हाथ हिलाकर आपका अभिवादन करते थे। लोग लाइन लगाकर इस चीज को देखने में रूचि रखते थे कि आपकी प्रैक्टिस कैसी चल रही है। इसके लिए कांटे की तारों के पास जमा होते। ऐसा नहीं था कि वार जो जैसी स्थिति थी लेकिन आप टेलिविजन पर देख सकते हैं कि लोग दवाई और मेडिकल सुविधा के लिए संघर्ष कर रहे हैं।"

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