सीमित जोखिम के साथ करें शेयर बाजार में प्रवेश, जानिए क्या कहते हैं एक्सपर्ट

यह फण्ड इस कैटेगरी का पायनियर फण्ड है। यह फण्ड अपने निजी प्राइसटू बुक मॉडल को फॉलो करता है और निवेश में मानव भावनाओं को दरकिनार करते हुए सस्ता ख़रीदो महँगा बेचो के सिद्धांत को बरकारार रखता है। इस फण्ड की पूरी परिसंपत्ति का

By NiteshEdited By: Publish:Fri, 23 Jul 2021 09:39 PM (IST) Updated:Sat, 24 Jul 2021 08:53 AM (IST)
सीमित जोखिम के साथ करें शेयर बाजार में प्रवेश, जानिए क्या कहते हैं एक्सपर्ट
नियमों पर आधारित निवेश मददगार साबित हो सकता है

पंकज मठपाल, नई दिल्ली। यह बात तो तय है कि शेयर बाजार में आपको मुनाफा तभी होगा जब आप सस्ते भाव पर शेयर खरीदकर उन्हें महँगे भावों पर बेचेंगे लेकिन अक्सर इसका उल्टा हो जाता है। यह समझ नहीं आता कि कब खरीदें और कब बेचें। शेयर बाजार में निवेशकों के मन में डर और लालच हमेशा बना रहता है। गिरते बाजार में खरीदते हुए डर लगता है और चढ़ते बाजार में लालच में आकर निवेश कर दिया जाता है।अक्सर हमारी भांवनाएँ निर्णय लेने में बाधा डालती हैं। दूसरी समस्या यह भी है कि यदि प्रॉफिट बुक करना है तो बेचकर पैसों को निवेश कहाँ करें। और साथ ही स्कीम में लगने वाले एक्जिटलोड, कैपिटल गेन टैक्स इत्यादि की चिंता। ऐसे में नियमों पर आधारित निवेश मददगार साबित हो सकता है।

बैलेंस्ड अडवांटेज फण्ड म्यूच्यूअल फण्ड की ऐसी कैटेगरी है जिसमे समय समय पर प्रॉफिट बुकिंग और पोर्टफोलियो रिबैलन्सिंग पहले से तय नियमों के आधार पर होती है। इस केटेगरी को डायनामिक एसेटएलोकेशन फण्ड के नाम से भी जाना जाता है। सेबी के अनुसार ये ओपन एंडेडडायनामिक एसेटएलोकेशन फण्ड होते हैं।यानि कि ये फण्डइ क्विटी और डेब्ट दोनों ही अस्सेस्ट क्लास में निवेश कर सकते हैं और इक्विटी और डेब्ट के बीच एलोकेशन जरूरत के हिसाब से तय होता है। एक स्कीम का निवेश शेयर बाजार में अधिकतम कितना हो और निवेश के लिए शेयरों का चुनाव किस आधार पर हो इसके लिए म्यूच्यूअल फण्डक म्पनी अपना एक मॉडल तैयार करती है ताकि फण्ड मैनेजर की भवनाएँ निवेश में रुकावट ना बने और लालच और डर का बैरियर ख़त्म हो जाये। स्कीम में निवेश पर होने वाले कैपिटल गेन पर टैक्स कम लगे इसके लिए डेरीवेटिवस्ट्रेटेजी का उपयोग किया जाता है।चलिए आज इस केटेगरी के कुछ चुंनिंदा फंड्स को समझते हैं।

आईसीआईसीआई प्रुडेंशियल बैलेंस्ड एडवांटेज फण्ड

यह फण्ड इस कैटेगरी का पायनियर फण्ड है। यह फण्ड अपने निजी प्राइसटू बुक मॉडल को फॉलो करता है और निवेश में मानव भावनाओं को दरकिनार करते हुए सस्ता ख़रीदो महँगा बेचो के सिद्धांत को बरकारार रखता है। इस फण्ड की पूरी परिसंपत्ति का 30 प्रतिशत से 80 प्रतिशत के बीच लार्ज और मिडकैपश्रेड़ी के चुनिंदा शेयरों में निवेश किया जाता है। यह स्कीम 30 दिसंबर 2000 को लॉन्चहुयी थी और इस फण्ड के रेगुलरप्लान ने शुरुवात से लेकर अभी तक करीब 11 प्रतिशत सालाना की औसत दर से रिटर्न दिया है।वहीँ पिछले एक साल में 25प्रतिशत से अधिक और पिछले 5 सालों में औसत 10 प्रतिशत से अधिक का रिटर्न दर्ज किया है।डायरेक्टप्लान में ये रिटर्न थोड़े और भी बेहतर हैं ।

आदित्य बिरला सन लाइफ बैलेंस्डए डवांटेज फण्ड

यह इस कैटेगरी का दूसरा एक बेहतरीन फण्ड है। यह फण्ड प्राइस अर्निंगरेश्यो यानि कि पीई रेश्यो के आधार पर शेयरों का मूल्यांकन करता है। फण्ड पोर्टफोलियो में शेयरों का चुनाव टॉपडाउन और बॉटम अपपद्द्ति के अनुसार करता है।यानि कि शेयरों का चुनाव करते समय अर्थव्यवस्था के साथ साथ कम्पनी के वित्त्य संकेतो पर भी ध्यान दिया जाता है। डैट पोर्टफलियो की बात करें तो इसमें उच्च गुणवत्ता और 2 साल से कम परिपक्वता वाले निवेश के साधनों को शामिल किया जाता है ताकि जोखिम कम रहे। यह फण्ड 25 अप्रैल 2000 को लॉन्चहुआ था। इस फण्ड के पिछले प्रद्दर्शन की बात करें तो रेगुलरप्लान ने सुरुवात से लेकर अभी तक करीब

10 प्रतिशत सालाना की औसत दर से रिटर्न दिया है।वहीँ पिछले एक साल में यह फण्ड लगभग 29 प्रतिशत और पिछले 5 सालों में औसत 10 प्रतिशत से अधिक का रिटर्न दर्ज करने में कामयाब रहा है।

निप्पॉन इंडिया बैलेंस्ड एडवांटेज फण्ड

यह भी इस कैटेगरी का एक अच्छा फण्ड है। सेबी ने जब 2017 में म्यूच्यूअलफंड्स की श्रेणी को पुनः परिभाषित किया तब रिलायंस मुटुआफण्ड ने रिलायंस एनआरआई इक्विटी फण्ड का नाम बदल कर इसे रिलायंस बैलेंस्डएडवांटेज फण्ड कर दिया था। बाद में जब सन 2019 में जब निप्पॉन म्यूच्यूअल फण्ड ने रिलायंस म्यूच्यूअल फण्ड का अधिग्रहण कर लिया तो इस फण्ड का नाम निप्पॉन बैलेंस्डअ डवांटेज फण्ड हो गया। यह फण्ड प्राइस अर्निंगरेश्यो के आधार पर और शार्ट एंड मीडियम टर्म के मोमेंटम के आधार पर शेयरों का मूल्यांकन करता है। मूलतः यह फण्ड15 नवंबर 2004 को लॉन्च हुआ था। हालांकि शुरुआत में यह एक अलग केटेगरी का फण्ड था।शुरुवात से लेकर अभी तक इस फण्ड का प्रदर्शन देखें तो इस फण्ड ने सालाना लगभग 16 प्रतिशत की कम्पाउंडेड ग्रोथ दर्ज की है। पिछले एक साल में फण्ड में लगभग 29प्रतिशत और पिछले 5 साल में लगभग 11प्रतिशत का औसत सालाना रिटर्न दर्ज कराया है।

इस कैटेगरी के फंड्स उन निवेशकों के लिये उचित है जो पहली बार शेयर बाजार पर आधारित म्यूच्यूअल फण्ड में निवेश कर रहे हैं या सीमित जोखिम के साथ शेयर बाजार में निवेश करना चाहते हैं। और साथ ही ऐसे निवेशक जो अपने नियमित खर्चों के लिए सिस्टेमेटिक विड्राल प्लान के जरिये नियमित रकम पाना चाहते हों वे भी इस तरह के फण्ड में निवेश करने पर विचार कर सकते हैं।

(लेखक ऑप्टिमा मनी मैनेजर्स के सीईओ हैं। प्रकाशित विचार उनके निजी हैं)

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