ट्रांसयूनियन सिबिल ने कहा, डेटा रिपोर्टिंग RBI नियम के तहत, ग्राहकों के क्रेडिट हिस्ट्री पर नहीं पड़ेगा कोई प्रभाव

रिपोर्ट में कहा गया है कि यह उपभोक्ताओं को समर्थन सुनिश्चित करेगा और उधार देने वाले निकायों को विश्वास के साथ लेन-देन करने में सक्षम बनाएगा।

By NiteshEdited By: Publish:Mon, 30 Mar 2020 02:13 PM (IST) Updated:Mon, 30 Mar 2020 06:59 PM (IST)
ट्रांसयूनियन सिबिल ने कहा, डेटा रिपोर्टिंग RBI नियम के तहत, ग्राहकों के क्रेडिट हिस्ट्री पर नहीं पड़ेगा कोई प्रभाव
ट्रांसयूनियन सिबिल ने कहा, डेटा रिपोर्टिंग RBI नियम के तहत, ग्राहकों के क्रेडिट हिस्ट्री पर नहीं पड़ेगा कोई प्रभाव

नई दिल्ली, पीटीआइ। कर्ज से जुड़ी विभिन्न जानकारियां देने वाली कंपनी ट्रांसयूनियन सिबिल ने सोमवार को कहा कि वह रिजर्व बैंक की EMI चुकाने पर लगायी गयी तीन महीने की रोक के अनुरूप ही लोन सूचनाएं जुटा रही है, ताकि इसका असर ग्राहकों के क्रेडिट स्कोर पर न पड़े। कोरोना वायरस के सामुदायिक फैलाव को रोकने के लिए सरकार ने देशभर में 21 दिन का लॉकडाउन (सार्वजनिक पाबंदी) किया है। इस वजह से राष्ट्रव्यापी आर्थिक गतिविधियां ठप सी पड़ गयी हैं।

रिजर्व बैंक ने इस स्थिति को ध्यान में रखते हुए सभी तरह के कर्जों की मासिक किस्त चुकाने पर तीन महीने रोक की घोषणा की है। ट्रांसयूनियन सिबिल यान में कहा, 'रिजर्व बैंक की ईएमआई चुकाने पर लगायी गयी रोक के बाद हम अपने सभी साथी बैंकों और कर्ज देने वाले संस्थानों के साथ आंकड़े जुटाने के ढांचे पर काम कर रहे हैं। ताकि इस रोक की अवधि का ग्राहकों की कर्ज चुकाने की पिछली जानकारियों और सिबिल स्कोर पर कोई प्रतिकूल प्रभाव ना पड़े।' रिजर्व बैंक ने कर्ज ग्राहकों को लॉकडाउन के प्रभाव से राहत देने के तौर पर यह कदम उठाया है।

CIC (क्रेडिट इनफॉर्मेशन कंपनियों) के बाजार में तीन कंपनियों में से सबसे बड़ी कंपनी ने कहा कि वह सदस्यों के साथ अधिक बार और वास्तविक समय डेटा रिपोर्टिंग को सुनिश्चित करने के लिए काम कर रही है।

रिपोर्ट में कहा गया है कि यह उपभोक्ताओं को समर्थन सुनिश्चित करेगा और उधार देने वाले निकायों को विश्वास के साथ लेन-देन करने में सक्षम बनाएगा। 

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