रोज रिकार्ड बना रहा कोरोना, एक दिन में मिले 142 नए मरीज
जिसका डर था वही बात होने लगी। सतर्क नहीं हो रहे लोग और नित्य नए रिकार्ड बनाता जा
सुपौल। जिसका डर था वही बात होने लगी। सतर्क नहीं हो रहे लोग और नित्य नए रिकार्ड बनाता जा रहा कोरोना। मंगलवार को इस वायरस ने लंबी छलांग लगाई और इस दिन सबसे अधिक यानी 142 नए मरीज पाये गये। ये मरीज सुपौल प्रखंड में 55, पिपरा प्रखंड में 11, त्रिवेणीगंज प्रखंड में 9, छातापुर प्रखंड में 4, राघोपुर प्रखंड में 12, बसंतपुर प्रखंड में 27, सरायगढ़-भपटियाही प्रखंड में 10, निर्मली प्रखंड में 11 तथा मरौना प्रखंड में 11 की संख्या में है। वहीं एक्टिव केस 520 पर पहुंच गया है। इस तरह पिछले साल से अब तक इस जिले में 6134 लोग कोरोना पोजेटिव पाये गए हैं। इसमें से 5599 मरीज को डिस्चार्ज किया गया। वहीं 4595 लोगों की जांच रिपोर्ट आनी बांकी है। अगर इस आंकड़े को देखने के बाद भी कोरोना की भयावहता को पहचान संभलने की जहमत लोग नहीं उठाएंगे तो आने वाले समय में स्थिति और विकराल हो जाएगी।
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विगत 15 सितंबर को मिले थे 94 मरीज
यू टर्न के बाद कोरोना के मजबूती का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि पिछले साल 15 सितंबर को सबसे अधिक 94 मरीज पाये गए थे। यह भी चिता का विषय है कि पिछले मार्च महीना में कोरोना के चलते लॉक डाउन लगा था और नौवें महीने में सबसे अधिक कोरोना के मरीज मिले लेकिन इस साल स्थिति उलट है। इस साल के जनवरी माह से कोरोना सुस्त पड़ने लगा था जिसे देख ऐसा प्रतीत हो रहा था कि यह वायरस हार चुका है। फरवरी माह में नहीं के बराबर आंकड़े आने लगे थे लेकिन इस वायरस ने फिर से फन उठाना शुरु कर दिया है और मार्च में धीरे-धीरे मामले बढ़ने लगे। अप्रैल माह में तो इस वायरस ने अपने ही रिकार्ड को तोड़ दिया।
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अस्पताल में कम हो गए सामान्य मरीज
कोरोना के चलते अस्पताल में मरीज कम आने लगे हैं। इसकी बानगी सदर अस्पताल के ओपीडी में देखा जा सकता है। फिलहाल सदर अस्पताल के कोरोना जांच वाली जगह पर मरीजों की काफी भीड़ देखी जा रही है। सबसे आश्चर्य की बात है कि मरीज कोरोना जांच वाली जगह पर भी सोशल डिस्टेंसिग का पालन नहीं करते। इधर सरकार के निर्देश के आलोक में सोमवार की शाम प्रशासन द्वार छह बजे शाम को दुकानें बंद करवाते नजर आये। हालांकि मोहल्ले की दुकानें देर शाम तक खुली नजर आई। वैसे लोगों को अब भी संभलने का मौका है। अभी भी देर नहीं हुई है। अगर हर कोई मास्क व सोशल डिस्टेंसिग के नियम का पालन करे तो कोरोना के मामले काफी कम आने लगेंगे।