पांच साल के बेटे ने दिखाया हौसला तो माता-पिता भी जीत गए कोरोना से जंग

तस्वीर में दिख रहे मासूम समेत उसके माता-पिता तीनों कोरोना की चपेट में आकर पॉजिटिव हो गए थे। अब तीनों ही स्वस्थ और प्रसन्न हैं। अपने पांच साल के मासूम बेटे टिनटिन के हौसले की बदौलत माता-पिता ने भी कोरोना को मात दी।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 06 May 2021 11:53 PM (IST) Updated:Thu, 06 May 2021 11:53 PM (IST)
पांच साल के बेटे ने दिखाया हौसला तो माता-पिता भी जीत गए कोरोना से जंग
पांच साल के बेटे ने दिखाया हौसला तो माता-पिता भी जीत गए कोरोना से जंग

सीतामढ़ी । तस्वीर में दिख रहे मासूम समेत उसके माता-पिता तीनों कोरोना की चपेट में आकर पॉजिटिव हो गए थे। अब तीनों ही स्वस्थ और प्रसन्न हैं। अपने पांच साल के मासूम बेटे टिनटिन के हौसले की बदौलत माता-पिता ने भी कोरोना को मात दी। अराजपत्रित प्रारंभिक शिक्षक संघ के जिला सचिव दिलीप कुमार शाही उन दिनों को याद कर कांप उठते हैं, जब उन्हें अपनी बेटी व दामाद के साथ पांच साल के नाती के कोरोना पॉजिटिव होने की खबर मिली। शाही ने बताया कि जब पूरा परिवार चितित व परेशान था तब पांच साल के उस मासूम ने कोरोना का नाम सुनते ही कहा कि मैं तो उसको अपनी बॉडी में ही मार दूंगा। मासूम के ये अल्फाज फोन पर सुनकर बेटी-दामाद समेत पूरे परिवार का आत्मबल काफी मजबूत हो गया। उस नन्हे मासूम के साहस और हिम्मत के साथ सही इलाज एवं संयम से सबने काम लिया और कुछ घरेलू नुस्खे अपनाकर कोरोना से मुक्त हो गए।

शाही बताते हैं कि उनके दामाद निशांत कुमार स्टेट बैंक अधिकारी हैं और गुजरात, भावनगर में पदस्थापित हैं। उनकी बेटी अंजू आनंद गृहिणी हैं। भावनगर में ही बेटी एवं नाती रहते हैं। सीतामढ़ी के बसबरिया के रहने वाले हैं। 31 मार्च, 2021 को एकसाथ तीनों कोरोना पॉजिटिव हुए। समाचार सुनकर मैं काफी नर्वस हो गया। फोन से बेटी-दामाद से बात कर रहे थे तो नाती के मुंह से वह अल्फाज सुनकर शरीर में जान लौट आई। काफी राहत महसूस हुआ।

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होम आइसोलेशन में रहकर कोरोना को हराया

चिकित्सक के निर्देशानुसार तीनों होम आइसोलेट हो गए। समय पर दवा ली, काढ़ा, फल, हल्दीयुक्त दूध, गर्म भोजन एवं साकारात्मक सोच से एक सप्ताह बाद धीरे-धीरे ठीक होने लगे। 14 दिनों बाद पूर्ण रूप से ठीक हो गए। निशांत ने कहा कि हमारा परिवार उन लोगों के लिए प्रेरणा का स्त्रोत है, जो कोरोना से जूझ रहे हैं। ऐसे में एक बात जरूर कहना चाहेंगे कि कोरोना से लोग पैनिक नहीं हो। सरकारी दिशा-निर्देशानुसार कोरोना से बचने का प्रयास करें। उसके बाद भी कोरोना के लक्षण दिखाई दे तो तुरंत जांच कराकर इलाज शुरू कर देना चाहिए। समय पर जांच, इलाज एवं साहस से कोरोना पर विजय प्राप्त किया जा सकता है। उम्मीद ही नहीं, पूरा विश्वास रखिए कि अपने आत्मविश्वास और इच्छाशक्ति के बूते एक बार फिर हम इसे हराएंगे। अराजपत्रित प्रारंभिक शिक्षक संघ के जिला सचिव के प्रमंडलीय सचिव ज्ञान प्रकाश ज्ञानू ने इस परिवार को शुभकामनाएं देते हुए कोरोना संक्रमितों से इनसे सीख लेने की अपील की। कहा कि कोरोना से ठीक होने के बाद भी लापरवाह न बनें। भीड़ वाले इलाके में जाने से बचें। मास्क लगाएं, शारीरिक दूरी का पालन करें। एक बार संक्रमित होने के बाद विशेष सतर्कता जरूरी है। विशेषज्ञ चिकित्सक बताएंगे कि संक्रमित लोग स्वस्थ होने के बाद कैसी दिनचर्या अपनाएं।

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