साथ जीने-मरने का पूरा किया वादा, निकला जनाजा तो रो पड़ा हर इंसान

शादी के बाद साथ जीने और मरने की कसमें खानेवाले एक बुजुर्ग दंपती ने अपने वादे को पूरा कर दिखाया। उजियारपुर प्रखंड के बेलारी काजी टोला वार्ड 9 निवासी 90 वर्षीय मो. कासिम अंसारी का निधन रविवार की शाम को हो गया। इसी बीच सोमवार की सुबह उनकी पत्नी 85 वर्षीया नजमुन निशा का भी देहांत हो गया।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 11 May 2021 12:42 AM (IST) Updated:Tue, 11 May 2021 12:42 AM (IST)
साथ जीने-मरने का पूरा किया वादा, निकला जनाजा तो रो पड़ा हर इंसान
साथ जीने-मरने का पूरा किया वादा, निकला जनाजा तो रो पड़ा हर इंसान

समस्तीपुर । शादी के बाद साथ जीने और मरने की कसमें खानेवाले एक बुजुर्ग दंपती ने अपने वादे को पूरा कर दिखाया। उजियारपुर प्रखंड के बेलारी काजी टोला वार्ड 9 निवासी 90 वर्षीय मो. कासिम अंसारी का निधन रविवार की शाम को हो गया। इसी बीच सोमवार की सुबह उनकी पत्नी 85 वर्षीया नजमुन निशा का भी देहांत हो गया। दंपती की इस कदर कुछ घंटे के अंतराल पर निधन होने से लोगों में इस बात की चर्चा होने लगी कि दोनों ने अपने साथ-साथ जीने और मरने के वादे को सच कर दिया। वहीं दंपती की निधन की सूचना मिलते ही विभूतिपुर विधायक सह माकपा नेता उनके अंतिम दर्शन के लिए पहुंचे। विधायक ने कहा कि कासीम बाबू गार्जियन स्वरूप हमेशा अच्छे सुझाव देते रहे। वे कम्युनिस्ट विचारधारा से प्रभावित रहे। अंतिम क्षण तक किसी भी परिस्थिति में कम्युनिस्ट विचारधारा से अलग नहीं हुए। वे सदा मृदुभाषी, मिलनसार, सामाजिक सौहार्द के प्रेमी रहे। मौके पर जगदीश महतो, शिव प्रसाद सिंह अशोक पुष्पम, मो अमजद अंसारी, साजिद रजा, मो कमर आलम, मो मुरसलीन, मो कयूम, मो जहूर आलम, मो मुकीम, अब्दुलबारी अंसारी, अमजद हुसैन, शमी अहमद आदि मौजूद थे। भाकपा नेता के निधन पर जताया शोक

विभूतिपुर : भाकपा अंचल कमेटी अंतर्गत केराई शाखा के पूर्व शाखा सचिव डॉ. विष्णुदेव सिंह का आकस्मिक निधन विगत 8 मई की रात्रि हो गया। वे करीब 68 वर्ष के थे। उनके निधन पर कार्यकर्ताओं ने एक शोक सभा आयोजित की। अंचल के प्रमुख कार्यकर्ताओं ने दो मिनट का मौन धारण कर दिवंगत आत्मा की शांति के लिए ईश्वर से प्रार्थना की। उनके चित्र पर पुष्प अर्पित कर गहरी शोक व्यक्त करते हुए उनके मार्ग पर चलने का संकल्प लिया। शोक सभा में अंचल सचिव विनोद कुमार विनय, राज्य परिषद सदस्य गजेंद्र प्रसाद चौधरी, पूर्व अंचल सचिव विशेश्वर महतो, सहायक अंचल सचिव परमानंद मिश्र, रामाकांत मिश्र, खेत मजदूर नेता लक्ष्मी नारायण सहनी, रामस्वरूप दास, रामचंद्र ठाकुर, रामविलास प्रवासी, राम नरेश राय, हरेराम मिश्र, जंग बहादुर महतो, शंभू प्रसाद सिंह आदि रहे।

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