बीपीएससी से नियुक्त शिक्षकों का एनपीएस खाता नहीं खोले जाने पर नाराजगी

समस्तीपुर। बलिराम भगत महाविद्यालय में ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय शिक्षक संघ दरभंगा की वृहत परिषद की बैठक सोमवार को हुई।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 02 Aug 2021 11:38 PM (IST) Updated:Mon, 02 Aug 2021 11:38 PM (IST)
बीपीएससी से नियुक्त शिक्षकों का एनपीएस खाता नहीं खोले जाने पर नाराजगी
बीपीएससी से नियुक्त शिक्षकों का एनपीएस खाता नहीं खोले जाने पर नाराजगी

समस्तीपुर। बलिराम भगत महाविद्यालय में ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय शिक्षक संघ दरभंगा की वृहत परिषद की बैठक सोमवार को हुई। इसमें ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय, दरभंगा अंतर्गत विभिन्न अंगीभूत महाविद्यालय के शिक्षक संघ के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। प्रधानाचार्य डा. बीरेंद्र कुमार चौधरी ने शिक्षक संघ के सभी पदाधिकारियों और प्रतिनिधियों का स्वागत किया। मंच संचालन डा. राज कुमार साह ने किया। सर्वप्रथम एलएन मुटा के महासचिव डा. कन्हैया झा ने संघ की अबतक की गतिविधियों और उपलब्धियों का प्रतिवेदन प्रस्तुत किया। कहा कि नवनियुक्त शिक्षकों के लिए एनपीएस योजना के क्रियान्वयन में विश्वविद्यालय द्वारा विलंब किया जा रहा है। संघ इसके तत्काल क्रियान्वयन के लिए विशेष प्रयास कर रहा है। उन्होंने सेवानिवृत शिक्षकों के पेंशन भुगतान में विश्वविद्यालय द्वारा किए जा रहे विलंब पर खेद व्यक्त किया। बैठक में कुल 12 प्रस्ताव पारित किए गए। मौके पर संरक्षक डा. अमरेश शाण्डिल्य, उपाध्यक्ष डा. एसएन तिवारी, डा. देवेंद्र चौधरी, पूर्व उपाध्यक्ष डा. रमेश झा, डा. आशा कुमारी, डा. बिन्ध्यांचल साह, डा. डीएन यादव, प्रो. हरि नारायण शुक्ल, डा. सुनील कुमार मिश्र, डा. स्वीटी कुमारी, डा. उल्लास टी, डा. स्नेहलता कुमारी, प्रो. विकास पटेल, प्रो. रोहित प्रकाश, डा. मो. तैयब, प्रो. शकील अहमद, डा. जितेंद्र मोहन, डा. आरती कुमारी, डा. मीनाक्षी दास, डा. सरोज कुमार मिश्र, प्रो. रवींद्र चौधरी आदि उपस्थित रहे।

बीपीएससी से नियुक्त शिक्षकों का एनपीएस खाता खोलने की दिशा में विश्वविद्यालय की निष्क्रियता पर चिता व्यक्त की गई। साथ ही उनके इस मद में कटौती की जा रही राशि का संधारण भी विश्वविद्यालय में उचित तरीके से नहीं करने का आरोप लगाया। इसको लेकर संबंधित शिक्षकों का प्राण खाता खोलने तथा उसमें राशि जमा करने हेतु एक महीने का समय दिया गया।

परीक्षा से संबंधित तथा मूल्यांकन कार्यों में नियमानुकूल यात्रा तथा ठहराव भत्ता दिए जाने की सहमति के बावजूद स्नातक खंड एक और दो में 2020 के मूल्यांकन में विश्वविद्यालय द्वारा इसका भुगतान नहीं किए जाने पर भी आपत्ति व्यक्त की गई। अतिथि शिक्षकों को शिक्षक संघ की सदस्यता देने के मुद्दे पर एक समिति गठित करने हेतु अध्यक्ष एवं महासचिव को अधिकृत किया गया। साथ ही विश्वविद्यालय परिसर में जन सुविधाओं तथा पेयजल का अभाव रहने के कारण विश्वविद्यालय में आने वाले छात्र-छात्राओं, अभिभावकों, शिक्षकों एवं शिक्षिकाओं को भारी असुविधा होने की भी आवाज उठायी गई।

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