कूड़े की ढ़ेर पर बसे पटोरी की स्वच्छता चुनौतीपूर्ण

समस्तीपुर। नवसृजित नगर परिषद क्षेत्र पटोरी कूड़े के ढेर पर बसा है। बाजार की हालत तो ज्यादा खराब है। ऐसी परिस्थिति में यह इंदौर जैसे शहर का मुकाबला कर ले ऐसा दूर-दूर तक प्रतीत नहीं होता।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 25 Nov 2021 10:42 PM (IST) Updated:Thu, 25 Nov 2021 10:42 PM (IST)
कूड़े की ढ़ेर पर बसे पटोरी की स्वच्छता चुनौतीपूर्ण
कूड़े की ढ़ेर पर बसे पटोरी की स्वच्छता चुनौतीपूर्ण

समस्तीपुर। नवसृजित नगर परिषद क्षेत्र पटोरी कूड़े के ढेर पर बसा है। बाजार की हालत तो ज्यादा खराब है। ऐसी परिस्थिति में यह इंदौर जैसे शहर का मुकाबला कर ले ऐसा दूर-दूर तक प्रतीत नहीं होता। सफाई को लेकर लोगों में न तो जागरूकता है और न ही अधिकारियों में ही इसके लिए कोई दिलचस्पी है। शहर से कूड़ा हटाए जाते हैं किन्तु नगर परिषद क्षेत्र होने के बावजूद उसे समुचित ढंग से उठाकर बाहर नष्ट करने की प्रक्रिया काफी धीमी है। इसका स्पष्ट उदाहरण शाहपुर पटोरी रेलवे स्टेशन के आस पास रेलवे लाइन के किनारे और बाया नदी के किनारे स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है। कहने को तो पटोरी को दो वर्ष पूर्व भी ओडीएफ घोषित किया जा चुका है कितु आज भी स्थिति ऐसी है कि यहां की आधी आबादी भी खुले में शौच करने को विवश है। पटोरी नगर परिषद क्षेत्र के अंतर्गत हसनपुर सूरत, चकसलेम, शाहपुर उंडी, बहादुरपुर पटोरी क्षेत्र के कई गांव आते हैं। यहां स्टेशन बाजार, गोला रोड, ठाकुरबारी रोड, सिनेमा चौक, सोमवारी हाट, चंदन चौक, कवि चौक तथा पुरानी बाजार का क्षेत्र सघन आबादी वाला क्षेत्र है। सबसे बड़ी बात यह कि जिन सड़कों के किनारे नाले का निर्माण कराया गया, सड़क जलमग्न हो गया। नाला निर्माण के कारण पानी का निकलना दूर उल्टे जलजमाव के कारण लोगों का सुरक्षित और स्वस्थ रहना मुहाल हो गया है। शहरी क्षेत्र के लोदीपुर धीर, हसनपुर सूरत, टांडा, शाहपुर उंडी, बहादुरपुर पटोरी, चकसलेम आदि क्षेत्र के ऐसे कई मोहल्ले हैं जहां बेधड़क लोग खुले में शौच जाते हैं। बाजार का कूड़ा पटोरी के सोमवारी हाट के समीप रेलवे परिसर में और शाहपुर पटोरी रेलवे स्टेशन के समीप बने कर्पूरी पार्क में धड़ल्ले फेंका जाता है। क्षेत्र से गुजरने वाले लोग नाक पर रुमाल रखकर ही गुजर सकते हैं। पटोरी एक ऐसा नगर परिषद क्षेत्र है जहां कोई भी सामुदायिक शौचालय नहीं है। शहरी क्षेत्र के भी कई घरों में आज शौचालय नदारद है। सामुदायिक शौचालय बनाने की प्रक्रिया शीघ्र होगी शुरू

फोटो : 25 एसएएम 08

सड़कों की सफाई एवं कचरा उठाव का काम प्रतिदिन किया जा रहा है। क्षेत्र के डस्टबिन का प्रबंध किया जाएगा जिसमें सुखे और गीले कचरे लोग रख सकेंगे। सामुदायिक शौचालय बनवाने की प्रक्रिया भी अब शुरू की जा रही है। जहां आवश्यक समझा गया वहां से जल निकासी की व्यवस्था करवाई गई थी।

कुमार राकेश रंजन, प्रभारी कार्यपालक पदाधिकारी, नगर परिषद, पटोरी लोगों की इच्छा शक्ति से ही पटोरी बन सकता है स्वच्छ नगर

फोटो : 25 एसएएम 09

अभी हाल ही पटोरी को नगर परिषद क्षेत्र घोषित किया गया है। बावजूद इसके यहां गंदगी का अंबार लगा हुआ है। कितु इसमें सिर्फ सरकारी महकमे और प्रशासनिक व्यवस्था ही दोषी नहीं, बल्कि आम लोग भी इसके लिए काफी अधिक दोषी हैं। लोग कूड़ा यत्र तत्र फेंकते हैं। नगर की सफाई के लिए व्यापक रूप से शहर से जल निकासी की व्यवस्था करानी होगी। करोड़ों खर्च होने के बावजूद शहर से जल की निकासी पर्याप्त मात्रा में नहीं हो पाती। इतना ही नहीं कुछ सामुदायिक शौचालय का निर्माण भी कराना होगा और उसकी सफाई की जिम्मेवारी भी प्रशासन के अतिरिक्त स्थानीय लोगों को संभालनी होगी।

प्रो. भूपेंद्र प्रसाद यादव, सामाजिक कार्यकर्ता, पटोरी

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