मशरूम उत्पादन में बिहार का देश में दूसरा स्थान : कुलपति

समस्तीपुर। डॉ. राजेन्द्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विवि के आधार विज्ञान एवं मानविकी संकाय के अंतर्गत एडवांस सेंटर ऑफ मशरूम रिसर्च में आधुनिक मशरूम उत्पादन प्रयोगशाला एवं मशरूम उत्पादन अनुसंधान नियंत्रित कक्ष का उद्घाटन कुलपति डा रमेश चन्द्र श्रीवास्तव ने शनिवार को किया।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 25 Jul 2021 11:13 PM (IST) Updated:Sun, 25 Jul 2021 11:13 PM (IST)
मशरूम उत्पादन में बिहार का  देश में दूसरा स्थान : कुलपति
मशरूम उत्पादन में बिहार का देश में दूसरा स्थान : कुलपति

समस्तीपुर। डॉ. राजेन्द्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विवि के आधार विज्ञान एवं मानविकी संकाय के अंतर्गत एडवांस सेंटर ऑफ मशरूम रिसर्च में आधुनिक मशरूम उत्पादन प्रयोगशाला एवं मशरूम उत्पादन अनुसंधान नियंत्रित कक्ष का उद्घाटन कुलपति डा रमेश चन्द्र श्रीवास्तव ने शनिवार को किया। इस अवसर पर संबोधित करते हुए डॉ श्रीवास्तव ने कहा कि पिछले नौ वर्षों में बिहार में मशरूम उत्पादन दो हजार टन से बढ़कर 22 हजार टन हो गया है। बिहार मशरूम उत्पादन में देश भर में दूसरे नंबर पर है। इसमें विश्वविद्यालय के मशरूम वैज्ञानिकों का अहम योगदान है। उन्होंने कहा कि मशरूम के क्षेत्र में विश्वविद्यालय ने पचास हजार से ज्यादा रोजगार सृजित किये हैं। आधार विज्ञान एवं मानविकी संकाय के अन्तर्गत महाभाष्य सभा कक्ष का भी उद्घाटन कुलपति ने किया। वार्षिक महाभाष्य लेक्चर सीरिज की शुरुआत भी की। अपने लेक्चर में बोलते हुए कुलपति ने सुंदर कांड की पंक्तियों का उदाहरण देते हुये बताया कि प्राचीन काल में लोगों के 49 तरह की वायु के विषय में ज्ञान था। इसके अतिरिक्त कई अन्य तथ्य जो आज विज्ञान जान गये है तथा जिन पर अनुसंधान कर रहे हैं, उसके विषय में वैदिक साहित्य में वर्णन मिलता है। उन्होंने कहा कि विदेशी आक्रमण के कारण भारतीय ज्ञान परंपरा को काफी नुकसान हुआ और बहुत सारे ज्ञान एवं विज्ञान की बातें अंधकार में चली गयी। डा श्रीवास्तव ने वैज्ञानिकों से कहा की विश्वविद्यालय में वैदिक स्टडीज की पढाई की संभावना के विषय में उन्हें सोचना चाहिये। इससे पहले बोलते हुए आधार विज्ञान के अधिष्ठाता डा सोमनाथ राय चौधरी ने कुलपति का स्वागत किया और कहा कि हमें प्राचीन विज्ञान से प्रेरणा लेनी चाहिये और ऐसे अनुसंधान करने चाहिये जो पर्यावरण अनुकूल हो। उन्होंने वैदिक कृषि अपनाने पर भी बल दिया तथा उस ओर अनुसंधान को प्रेरित करने का आह्वान किया। उद्घाटन समारोह के दौरान कुलसचिव डा पी पी श्रीवास्तव, निदेशक शिक्षा डा एम एन झा, निदेशक प्रसार शिक्षा, डा एम एस कुंडू, डीन पीजी डा के एम सिंह, डीन हार्टीकल्चर डा कृष्ण कुमार, डा एके सिंह, डा कुमार राज्यवर्धन, डा आर के झा समेत कई वैज्ञानिक एवं अधिकारी उपस्थित थे।

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