समस्तीपुर में 11 हजार 215 किसानों को मिले मृदा स्वास्थ्य कार्ड

समस्तीपुर। खेतों की अच्छी सेहत बंपर पैदावार व किसानों की आमदनी बढ़ाने के लिए जिले में वित्तीय वर्ष 2020-21 में 11 हजार 215 किसानों की खेतों की मिट्टी के सैंपलों की जांच कर मृदा स्वास्थ्य कार्ड निर्गत किया गया है।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 26 Jul 2021 11:55 PM (IST) Updated:Mon, 26 Jul 2021 11:55 PM (IST)
समस्तीपुर में 11 हजार 215 किसानों को मिले मृदा स्वास्थ्य कार्ड
समस्तीपुर में 11 हजार 215 किसानों को मिले मृदा स्वास्थ्य कार्ड

समस्तीपुर। खेतों की अच्छी सेहत, बंपर पैदावार व किसानों की आमदनी बढ़ाने के लिए जिले में वित्तीय वर्ष 2020-21 में 11 हजार 215 किसानों की खेतों की मिट्टी के सैंपलों की जांच कर मृदा स्वास्थ्य कार्ड निर्गत किया गया है। हालांकि जिले में किसानों की संख्या के अनुपात में यह उपलब्धि अभी काफी कम है, लेकिन इसे बढ़ाने पर जोर दिया जा रहा है। मृदा परीक्षण किसानों के लिए काफी महत्वपूर्ण है। इससे पता चलता है कि जमीन में किस तत्व की कमी है। जैसे फास्फोरस, पोटाश, कैल्शियम, मैग्नीशियम सहित अन्य। किसानों को उसी के अनुसार खेत में कौन सी खाद कितनी मात्रा में इस्तेमाल करनी है, इसका सुझाव दिया जाता है। विभाग के अनुसार किसानों को समय-समय पर मिट्टी जांच कराना अत्यंत आवश्यक होता है, जिसके बाद उन्हें विभाग की तरफ से बाकायदा मृदा स्वास्थ्य कार्ड निर्गत किया जाता है। विभाग के अनुसार किसानों को उनकी खेत की गुणवत्ता के अनुरूप तीन साल में एक बार मृदा स्वास्थ्य कार्ड दिया जाता है और खेतों के अनुसार ही फसल लगाने का सुझाव दिया जाता है। कैसे होता है मिट्टी का स्वास्थ्य परीक्षण :

पहले अधिकारी खेत पर जाकर किसान के खेत की मिट्टी के सैंपल लेते हैं। इसके बाद मिट्टी को परीक्षण के लिए लैब में भेजा जाता है। जांच टीम मिट्टी के सैंपल की जानकारियां हासिल करके उसकी गुणवत्ता बताते हैं। अगर मिट्टी के सेहत में कुछ कमी है तो उसके सुधार के लिए सुझाव दिए जाते हैं। स्वास्थ्य कार्ड में रहती है ये जानकारी :

- मिट्टी की सेहत

- खेत की उत्पादक क्षमता

- पोषक तत्वों की जानकारी

- पानी की मात्रा यानि नमी

- खेतों की गुणवत्ता संबंधित दिशा-निर्देश किसानी करने में मिल रही सहायता :

जिला मिट्टी जांच प्रयोगशाला के सहायक निदेशक (रसायन) अभिषेक कुमार ने बताया कि मिट्टी जांच से किसानों को किसानी करने में सहायता मिल रही है। किसान इसके हिसाब से खेतों में उर्वरक डालकर अच्छी पैदावार प्राप्त कर सकेंगे। किसानों के खेतों की मिट्टी जांच की रिपोर्ट मिलने के बाद वह यह तय कर पाएंगे कि किस फसल में कितना खाद डाला जाए। स्वास्थ्य कार्ड के माध्यम से खेतों में खाद डालने की मात्रा भी बताई जाती है। कृषकों से मिट्टी स्वास्थ्य कार्ड को सुरक्षित रखने की अपील की है। जिले में वित्तीय वर्ष 2020-21 में निर्गत मृदा स्वास्थ्य कार्ड कार्ड : प्रखंड संख्या

पटोरी 574

मोहनपुर 574

बिथान 535

सिघिया 574

दलसिंहसराय 573

मोरवा 555

विभूतिपुर 573

रोसड़ा 574

विद्यापतिनगर 582

उजियारपुर 527

सरायरंजन 574

समस्तीपुर 533

वारिसनगर 574

खानपुर 534

मोहिउद्दीनगर 543

हसनपुर 574

शिवाजीनगर 573

कल्याणपुर 534

ताजपुर 560

पूसा 575

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