सपना साकार करने की ओर अग्रसर हो रही हैं महिलाएं
महिला दिवस पर विशेष संस सहरसा बदलते समय के साथ महिलाएं लगातार आगे बढ़ रही हैं। अपने
महिला दिवस पर विशेष
संस, सहरसा: बदलते समय के साथ महिलाएं लगातार आगे बढ़ रही हैं। अपने सपने को साकार करने के लिए महिलाएं न सिर्फ चौखट लांघ रही हैं, बल्कि अपनी कार्यकुशलता से यह साबित किया है कि मौका मिलने पर हम भी आसमां की बुलंदी को छू सकती हैं। अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर जब कुछ महिला अधिकारी और अन्य महिलाओं से बात की गई तो इनलोगों ने बेवाक प्रतिक्रिया व्यक्त की।
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पूर्व की भांति महिलाओं की स्थिति में काफी सुधार हुआ है। महिलाओं के सम्मान में भी वृद्धि हुई है। सरकार ने इसके लिए कई उल्लेखनीय प्रयास किया है। आमलोग भी इस बात को मानने लगे हैं कि महिलाओं की अनदेखी कर बेहतर समाज का निर्माण संभव नहीं है। परंतु गांव- कस्बे में अभी भी बच्चियों अपेक्षाकृत माहौल नहीं मिला है। इस दिशा में कार्य करने की जरूरत है।
कुमारी रश्मि
जिला अल्पसंख्यक कल्याण पदाधिकारी, सहरसा।
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कोई ऐसा क्षेत्र नहीं है, जहां महिलाएं पुरूषों से पीछे हों। ऐसे में यह कहना बेमानी होगा कि महिलाएं आगे नहीं बढ़ी है, परंतु इसे भी झुठलाया नहीं जा सकता है कि उड़ान भरनेवाली युवतियों की संख्या में अपेक्षित बढ़ोतरी नहीं हुई है। इसके लिए सरकार और समाज के अगुवा को और प्रयास करने की जरूरत है।
डॉ. रेणु सिंह
सेवानिवृत प्राचार्य, रमेश झा महिला कॉलेज सहरसा ।
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हमारे देश में महिलाएं लगातार सशक्तिकरण की ओर मुखातिब हैं। चाहे शासन-प्रशासन हो या राजनीति अथवा अन्य कोई पेशा हर जगह महिलाओं का अस्तित्व साबित हो चुका है। बहुत कम जगहों पर अभी भी बेटा और बेटी में फर्क किया जा रहा है। एक बेहतर समाज का निर्माण और तरक्की की रफ्तार बढ़ाने के लिए हमसबों को इस मानसिकता का त्याग करना ही होगा।
कुमारी तोसी
वरीय उपसमाहर्ता, सहरसा।
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परिवार की देखभाल के साथ- साथ देश के विकास में महिलाएं अहम भूमिका निभा रही हैं। शिक्षित महिलाएं ही नहीं गांवों में गरीब परिवार की भी दर्जनों महिलाएं अपनी बदौलत पूरे परिवार की परवरिश कर रही हैं। महिलाओं के प्रति सरकार और समाज के नजरिया में परिवर्तन हुआ है, परंतु अभी महिलाओं को और उत्साहित करने की जरूरत है। इससे समाज मजबूत होगा और राष्ट्र के विकास की गति भी तेज होगी
नीतू झा, शिक्षिका